औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि दर जुलाई में 0.1 फीसदी

औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि दर जुलाई में 0.1 फीसदी

औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि दर जुलाई में 0.1 फीसदीनई दिल्ली: विनिर्माण, खनन और पूंजीगत उत्पाद क्षेत्र के खराब प्रदर्शन के कारण औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि दर जुलाई में 0.1 फीसद दर्ज हुई जिससे आर्थिक गतिविधि में नरमी का संकेत मिलता है। इससे आरबीआई सोमवार को मौद्रिक नीति की मध्य तिमाही समीक्षा में ब्याज दरें घटा सकता है।

बुधवार को आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक चालू वित्त वर्ष की अप्रैल से जुलाई की अवधि में औद्योगिक उत्पादन 0.1 फीसद घटा।

औद्योगिक उत्पादन सूचकांक के आधार पर आकलित कारखाना उत्पादन पिछले साल जुलाई में 3.7 फीसद बढ़ा था और 2011-12 की अप्रैल से जुलाई अवधि में यह 6.1 फीसद बढ़ा था।

सूचकांक में 75 फीसद योगदान करने वाले विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन जुलाई के दौरान 0.2 फीसद घटा जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसमें 3.1 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई थी।

अप्रैल से जुलाई के दौरान विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन 0.6 फीसद घटा जबकि पिछले साल की उक्त चार महीने की अवधि में 6.5 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई।

जुलाई में पूंजीगत उत्पादों का उत्पादन में पांच फीसद की गिरावट आई जबकि पिछले साल की समान अवधि में इस क्षेत्र का उत्पाद 13.7 फीसद घटा।

अप्रैल से जुलाई की अवधि में पूंजीगत उत्पादों का उत्पादन 16.8 फीसद घटा जबकि 2011-12 में इस क्षेत्र का उत्पादन 8.2 फीसद घटा।

जुलाई में खनन उत्पादन 0.7 फीसद घटा जबकि पिछले साल की इस अवधि में इस क्षेत्र के उत्पादन में 0.7 फीसद की बढ़ोतरी दर्ज हुई है।

अप्रैल से जुलाई की अवधि में खनन क्षेत्र का उत्पादन 0.9 फीसद घटा जबकि 2011-12 की समान अवधि में इसमें 0.6 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई थी।

उपभोक्ता उत्पाद का उत्पादन जुलाई में 0.7 फीसद बढ़ा जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसमें 6.4 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई थी।

चालू वित्त वर्ष की अप्रैल से जुलाई की अवधि के दौरान उपभोक्ता उत्पाद खंड में 3.3 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि पिछले साल के चार महीने के दौरान 4.9 फीसद की वृद्धि हुई थी।

कुल मिलाकर विनिर्माण क्षेत्र के 22 औद्योगिक समूहों में से सिर्फ आठ में सकारात्मक वृद्धि दर्ज हुई। टिकाउ उपभोक्ता उत्पाद क्षेत्र के वृद्धि दर्ज में गिरावट दिखी। जुलाई में इस क्षेत्र में 1.4 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि पिछले साल की इसी महीने में नौ फीसद की वृद्धि हुई थी। इधर अप्रैल से जुलाई के दौरान टिकाउ उपभोक्ता क्षेत्र के उत्पादन में 6.3 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि 2011-12 की इसी अवधि में 4.3 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई थी।

जुलाई के दौरान गैर-टिकाउ उपभोक्ता उत्पादों के उत्पादन की वृद्धि दर घटकर 0.1 फीसद रह गई जबकि पिछले साल के इसी महीने में 4.1 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई थी। चालू वित्त वर्ष के पहले चार महीनों में इस क्षेत्र में 0.7 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि 2011-12 की इस अवधि में 5.5 की बढ़ोतरी हुई थी।

आधार उत्पादों का उत्पादन की वृद्धि दर भी जुलाई में घटकर 1.5 फीसद रह गई जो पिछले साल साल की समान अवधि में 10 फीसद थी। अप्रैल से जुलाई की अवधि में इस क्षेत्र में तीन फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि पिछले वित्त वर्ष के पहले चार महीनों में 8.1 फीसद की वृद्धि हुई थी।

जुलाई में बिजली उत्पादन क्षेत्र की वृद्धि दर भी घटकर 2.8 फीसद रह गई जबकि पिछले साल के इसी महीने में यह 13.1 फीसद थी।

इधर अप्रैल से जुलाई 2012 के दौरान बिजली उत्पादन में 5.5 फीसद की वृद्धि दर्ज हुई जबकि 2011-12 की समान अवधि में यह 9.34 फीसद थी। (एजेंसी)

First Published: Wednesday, September 12, 2012, 12:59

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