Last Updated: Wednesday, June 20, 2012, 11:09

लॉस काबोस: जी-20 देशों ने विकासशील देशों में बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश को प्राथमिकता दिये जाने पर आज सहमति जतायी। इसका मकसद वैश्विक वृद्धि को गति देना है जो विश्व अर्थव्यवस्था तथा यूरो क्षेत्र में संकट के कारण धीमी हो गयी है। इसे भारत के लिये बड़ी सफलता माना जा रहा है।
विकसित एवं विकासशील देशों का संगठन जी-20 शिखर सम्मेलन के समाप्त होने पर जारी 14 पृष्ठ के घोषणापत्र में कहा गया है, ‘हम बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश को समर्थन देने समेत विकास के लिये ज्यादा अनुकूल माहौल तैयार करने को लेकर अपने प्रयास तेज करेंगे।’ मैक्सिको के इस खूबसूरत शहर में आयोजित सातवें जी-20 शिखर सम्मेलन के घोषणापत्र में कहा गया है कि समूह विकासशील देशों खासकर कम आय वाले देशों पर निरंतर संकट के प्रभाव को महसूस करता है।
शिखर सम्मेलन की समाप्ति के बाद प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने बयान में कहा, ‘हमने हमेशा कहा है कि विकास को मजबूत करने तथा वैश्विक पुनरूद्धार को गति देने के मामले में विकासशील देशों में बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। लॉस काबोस घोषणापत्र हमारी इस पहल को प्रतिबिंबित करता है।’ विकासशील देशों में बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश बढ़ाने पर जोर देते हुए उन्होंने कहा कि इसका विशेष महत्व है। (एजेंसी)
सिंह ने जी-20 शिखर सम्मेलन के पूर्ण सत्र को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘वैश्विक वृद्धि को गति देने के लिये बुनियादी ढांचा क्षेत्र में निवेश जरूरी है।’’ वैश्विक उत्पादन में जी-20 देशों का योगदान करीब 80 प्रतिशत है। (एजेंसी)
First Published: Wednesday, June 20, 2012, 11:09