Last Updated: Wednesday, February 8, 2012, 10:54
नई दिल्ली : भारत की शीर्ष चार रिले धाविकाओं पर लगाए गए एक साल के प्रतिबंध से असंतुष्ट विश्व डोपिंग निरोधक एजेंसी ने इस फैसले के खिलाफ अपील करते हुए दो साल के प्रतिबंध की मांग की है।
एशियाई खेलों में राष्ट्रमंडल और एशियाई खेलों की चार गुणा 400 मीटर रिले टीम की स्वर्ण पदक विजेता अश्विनी अकुंजी, सिनि जोस, प्रियंका पवार और टियाना मेरी थामस के अलावा तीन अन्य एथलीटों पर पिछले साल दिसंबर में एक साल का प्रतिबंध लगा है। कम सजा देने का कारण यह दिया गया है कि उन्होंने जान बूझकर प्रतिबंधित दवा का सेवन नहीं किया है।
चारों एथलीटों ने एक साल के प्रतिबंध के खिलाफ सी के महाजन की अगुवाई वाली नाडा की अपीली पेनल के समक्ष अपील की थी। उन्होंने कहा था कि अपने कोच के कहने पर उन्होंने प्रतिबंधित पदार्थ का सेवन किया था। नाडा की अपीली पेनल ने मामले पर अपना फैसला सुरक्षित रखा है, लेकिन चूंकि वाडा ने अब एक साल के प्रतिबंध के खिलाफ अपील कर दी है तो पेनल भी यह मामला फिर खोल सकता है। अगली सुनवाई 15 फरवरी को होगी।
नाडा के महानिदेशक राहुल भटनागर ने कहा कि वाडा ने कम सजा के खिलाफ अपील दायर की थी और यह मामला 15 फरवरी को नाडा अपीली पैनल के समक्ष उठाया जाएगा।
भटनागर ने कहा कि वाडा ने अपील दायर की और नियमों के अंतर्गत दो साल की कड़ी सजा देने की मांग की। वाडा के तर्क के अनुसार एथलीटों को इस आधार पर हल्की सजा नहीं दी जानी चाहिए कि वे नहीं जानते थे कि वे प्रतिबंधित पदार्थ ले रहे थे।
उन्होंने कहा कि वाडा कहता है कि नियमों के अनुसार एथलीट को पूरी जिम्मेदारी उठानी होगी भले ही उसने प्रतिबंधित पदार्थ जानबूझकर लिए थे या वह अनजान था। प्रतिबंधित पदार्थ उनके मूत्र के नमूने में मौजूद थे, जो पहली बार अपराध करने वाले एथलीट को दो साल की सजा दिलाने के लिए काफी हैं। वाडा की अपील का यही मतलब था। एथलीट महासंघ का अंतरराष्ट्रीय संघ के भी मंदीप कौर और जौना मुमरु पर लगे एक साल के प्रतिबंध के खिलाफ अपील दायर करने की उम्मीद है।
(एजेंसी)
First Published: Wednesday, February 8, 2012, 16:24