जानिए, अर्श से फर्श पर कैसे पहुंचे ललित मोदी

जानिए, अर्श से फर्श पर कैसे पहुंचे ललित मोदी

जानिए, अर्श से फर्श पर कैसे पहुंचे ललित मोदीनई दिल्ली : आसमान को छूने की तमन्ना रखने वाले ललित मोदी का भारतीय क्रिकेट में कार्यकाल इतना नाटकीयता भरा रहा जिससे यह साबित होता है कि जिंदगी वाकई उतार चढाव से भरी है जिसमें आदमी पल में अर्श से फर्श पर आ गिरता है। इंडियन प्रीमियर लीग के जरिये विश्व क्रिकेट का चेहरा बदल देने वाले आईपीएल के पूर्व आयुक्त पिछले तीन साल से विवादों का सामना कर रहे हैं। उनके जीवन में आज एक और निराशाजनक मोड़ आया जब बीसीसीआई ने उन पर आजीवन प्रतिबंध लगा दिया क्योंकि बोर्ड की अनुशासन समिति ने उन्हें अनुशासनहीनता और अनियमितता के आठ आरोपों का दोषी पाया था।

भारतीय क्रिकेट में उनका आना भी उतना ही नाटकीय था जितना कि उनका निष्कासन। यह कहना कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी कि मोदी की आईपीएल ने विश्व क्रिकेट में बीसीसीआई को आर्थिक महाशक्ति बनाया। पारंपरिक क्रिकेट के मुरीद जहां इसकी आलोचना करते रहे वहीं आईसीसी को टेस्ट और वनडे क्रिकेट का वजूद बनाये रखने के लिये जूझना पड़ा।

मोदी ने 2008 में विश्व क्रिकेट को आईपीएल दी जिससे फुटबॉल और टेनिस के दबदबे वाले वैश्विक खेल मानचित्र में क्रिकेट को जगह बनाने में मदद मिली। इसके बाद से लगातार विवादास्पद घटनाओं के चलते कद्दावर क्रिकेट प्रशासक मोदी का पतन शुरू हो गया। फिलहाल लंदन में बसे मोदी के खिलाफ आरोपों पर सुनवाई जुलाई 2010 में शुरू हुई थी और अनुशासन समिति ने दो साल में कई दौर की सुनवाई की जिसमें से एक में भी मोदी प्रत्यक्ष रूप से मौजूद नहीं थी।

मोदी को 25 अप्रैल 2010 को बोर्ड के संविधान के नियम 32 (4 ) के तहत निलंबित कर दिया था। मुंबई में आईपीएल फाइनल के तुरंत बाद यह फैसला लिया था। बोर्ड ने उन्हें तीन कारण बताओ नोटिस भी जारी किये थे जिनमें से उन्होंने सभी का जवाब दिया।

मोदी का पतन आईपीएल 2010 में नीलामी के बाद से शुरू हो गया था जिसमें पुणे और कोच्चि की दो नयी टीमें बनी थी। मोदी ने ट्विटर पर कोच्चि टीम की मिल्कियत का ब्यौरा डाल दिया था जिसके बाद तत्कालीन विदेश मंत्री शशि थरूर को इस्तीफा देना पड़ा था। मोदी ने ऐसा करके बोर्ड और आईपीएल फ्रेंचाइजी के बीच गोपनीयता के अनुबंध का कथित उल्लंघन किया।

मोदी को अप्रैल 2010 में आईपीएल अध्यक्ष और आयुक्त पद से निलंबित कर दिया था। मोदी को ईमेल के जरिये 22 आरोपों समेत 34 पन्ने का निलंबन नोटिस भेज दिया गया था। पूरे समय मोदी ट्विटर और टीवी चैनलों पर खुद को बेकसूर बताते रहे लेकिन बीसीसीआई की समिति के सामने प्रत्यक्ष पेश नहीं हुए। (एजेंसी)

First Published: Wednesday, September 25, 2013, 23:39

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