Last Updated: Saturday, June 1, 2013, 09:10
ज़ी मीडिया ब्यूरोमुंबई : भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के सचिव संजय जगदाले और कोषाध्यक्ष अजय शिरके के अपने पद से इस्तीफा देने के बाद बीसीसीआई कप्तान एन.श्रीनिवासन की मुश्किलें बढ़ गई हैं। बोर्ड सदस्यों की इस बगावत के बाद श्रीनिवासन की कुर्सी मुश्किल में पड़ गई है। बोर्ड के दोनों सदस्यों ने नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दिया है।
इस्तीफे के बाद जब मीडिया ने सवाल किया तो जगदाले ने कहा, ‘हां यह सही है। मैंने बीसीसीआई के मानद सचिव पद से इस्तीफा दे दिया है। मैं आगे कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता लेकिन मैं भारतीय क्रिकेट में हाल के घटनाक्रम से बहुत आहत हूं। मैंने सोचा कि इससे बेहतर पद छोड़ना है ताकि कोई नया चेहरा आकर इससे बेहतर तरीके से निबटे।’ जगदाले ने हालांकि श्रीनिवासन को भेजे गए त्यागपत्र में क्या लिखा है, इस बारे में बताने से इन्कार कर दिया।
उन्होंने कहा, ‘मैंने अध्यक्ष को जो त्यागपत्र लिखा है उस पर टिप्पणी नहीं कर सकता। अध्यक्ष को सूचित करना पड़ता है और मैंने वही किया। मैंने आयोग का हिस्सा बनने में असमर्थता पहले ही जता दी है। मैं यह टिप्पणी नहीं कर सकता कि बीसीसीआई का अन्य सदस्य मेरा अनुसरण करके त्यागपत्र देगा या नहीं।’ जगदाले ने कहा कि वह इस पर भी टिप्पणी नहीं करना चाहते कि श्रीनिवासन को भी त्यागपत्र देना चाहिए या नहीं।
शिरके ने भी त्यागपत्र की पुष्टि की। उन्होंने कहा, ‘मैंने त्यागपत्र के कारण बता दिये हैं। मैं इस पर आगे टिप्पणी नहीं करना चाहता। मैं पहले ही मीडिया से लंबी बातचीत कर चुका हूं।’ शिरके ने कहा कि श्रीनिवासन ने उन्हें पद छोड़ने के लिए नहीं मनाया था।
सट्टेबाजी के आरोप में दामाद गुरुनाथ मयप्पन की गिरफ्तारी के बाद से ही श्रीनिवासन के इस्तीफे की मांग की जा रही थी लेकिन वह इस्तीफा नहीं देने पर अड़े हुए हैं। बीसीसीआई के संयुक्त सचिव अनुराग ठाकुर के नेतृत्व में बोर्ड के कुछ अधिकारी चाहते थे कि श्रीनिवासन वर्किंग कमेटी की बैठक बुलाएं लेकिन शुक्रवार शाम तक श्रीनिवासन इसके लिए राजी नहीं थे। बाद में दबाव इतना बढ़ गया कि आपात बैठक की तारीख तय की गई। लेकिन उम्मीद जताई जा रही है कि श्रीनिवासन बैठक से पहले ही कुर्सी छोड़ दें।
First Published: Friday, May 31, 2013, 20:55