Last Updated: Saturday, November 19, 2011, 07:25
वाशिंगटन : वैज्ञानिकों ने ‘कवासाकी’ बीमारी के संक्रमण का खतरा उत्पन्न करने वाले जीन की खोज करने का दावा किया है। यह बीमारी अधिकतर बच्चों को प्रभावित करती है और इसके चलते रक्त नलिकाओं में सूजन आ जाती है।
जीनोम इंस्टीट्यूट आफ सिंगापुर के संक्रामक बीमारी विभाग के दल ने इस जीन ‘एफसीजीआर 2-ए’ का पता लगाया है। यह जीन ही कवासाकी बीमारी के संक्रमण को फैलाने के लिए जिम्मेदार माना जाता है। ‘नेचर जेनेटिक्स’ में यह खबर प्रकाशित हुई है।
अपने शोध के दौरान इस दल ने यूरोप में कवासाकी बीमारी से पीड़ित 405 बच्चों और उनके मुकाबले में 6,252 स्वस्थ बच्चों के आनुवांशिकी प्रोफाइल का अध्ययन किया। अपने शोध में शोधकर्ताओं ने पाया कि एफजीजीआर 2-ए जीन की मौजूदगी बीमारी के संक्रमण का खतरा बढ़ाने के लिए मुख्य रूप से जिम्मेदार है।
शोध कर रहे दल के प्रमुख ने कहा, ‘अब हमें एक पहेली का खोया हुआ हिस्सा मिल गया है। हमें उम्मीद है कि इस खोज से मरीजों में इस बीमारी का जल्द पता लगाने और जल्द उपचार शुरू करने में मदद मिलेगी।’ इससे उन्हें पांच दिन से अधिक समय तक चलने वाला बुखार आता है और इस पर एंटीबायोटिक्स तथा पैरासिटामोल और एस्प्रिन जैसी दवाओं का भी असर नहीं होता।
(एजेंसी)
First Published: Saturday, November 19, 2011, 12:56