Last Updated: Tuesday, November 22, 2011, 09:40
वाशिंगटन : ईरान के खिलाफ नए प्रतिबंध लगाने की प्रक्रिया में अमेरिका ने भी अपने सहयोगी देशों ब्रिटेन और कनाडा की तर्ज पर तेहरान पर कई तरह कड़ी पाबंदियां लगा दी हैं।
अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन ने कहा है कि नए प्रतिबंध लगाकर स्पष्ट संकेत दिया जा रहा है कि ईरान पर अंतरराष्ट्रीय दबाव बढ़ रहा है और वह अलग-थलग पड़ता जा रहा है। राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कल ईरान के पेट्रोकेमिकल उद्योग पर कई तरह की पाबंदियां लगाने से जुड़े एक आदेश पर हस्ताक्षर किया। इसके अलावा ईरान के कई व्यक्तियों और निकायों पर भी प्रतिबंध लगाए गए हैं।
‘पैट्रियॉट ऐक्ट’ को लागू करते हुए अमेरिका ने ईरान के सेंट्रल बैंक समेत समूचे बैंकिंग क्षेत्र को उन सभी सरकारों अथवा वित्तीय संस्थाओं के लिए खतरा करार दिया है, जो ईरान के बैंकों के साथ कारोबार करती हैं।
हिलेरी ने संवाददाताओं से कहा, ‘संदेश स्पष्ट है। अगर ईरान का अड़ियल रुख बना रहता है तो उसे और दबाव का सामना करना होगा एवं वह अलग-थलग भी पड़ जाएगा।’
हिलेरी के साथ अमेरिकी वित्त मंत्री टिमोथी गिथनर भी प्रेस वार्ता में मौजूद थे। ब्रिटेन और कनाडा की ओर से ईरान पर प्रतिबंधों के संदर्भ में कुछ नए कदम उठाए गए हैं। अमेरिका का कहना है कि उसे उम्मीद है कि उसके अंतरराष्ट्रीय साझेदार आने वाले दिनों में अतिरिक्त कदम उठाएंगे। अमेरिकी विदेश मंत्री ने कहा, ‘एक साथ उठाए गए इन कदमों से पता चलता है कि ईरान पर दबाव बढ़ता जा रहा है।’
ईरान पर नए प्रतिबंध लगाने के साथ ही अमेरिका अंतरराष्ट्रीय स्तर पर राजनयिक अभियान चलाएगा ताकि कोई भी देश ईरान से पेट्रोलियम उत्पाद नहीं खरीदे।
(एजेंसी)
First Published: Tuesday, November 22, 2011, 15:13