Last Updated: Thursday, March 14, 2013, 21:27

इस्लामाबाद : पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी की अगुवाई वाली सरकार के कार्यकाल के पूरा होने के दो दिन पहले प्रधानमंत्री राजा परवेज अशरफ ने कार्यवाहक प्रधानमंत्री पद के लिए पूर्व वित्त मंत्री अब्दुल हफीज शेख, अर्थशास्त्री इशरत हुसैन और सेवानिवृत्त न्यायाधीश मीर हाजर खान खोसो के नामों की सिफारिश की।
अशरफ ने सत्तारुढ़ पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) की ओर से कार्यवाहक प्रधानमंत्री पद के लिए उम्मीदवारों के नाम का ऐलान किया। आगामी 16 मार्च को उनकी सरकार का कार्यकाल पूरा हो जाएगा। नेता प्रतिपक्ष चौधरी निसार अली खान को भेजे पत्र में अपनी ओर से नामों की पेशकश की है।
अशरफ ने पत्र में कहा है, ‘मैं जल्द जवाब पाने का इच्छुक हूं ताकि हम मसले को यहीं खत्म कर सकें और देश में आम चुनाव कराने की ओर बढ़ सकें।’ इससे पहले मुख्य विपक्षी पीएमएल-एन के वरिष्ठ नेता खान ने अंतरिम सरकार की अगुवाई के लिए सेवानिवृत्त न्यायाधीश नासिर असलम जाहिद, शाकिरूल्ला जान और सिंधी अवामी तहरीक के प्रमुख रसूल बख्श पलेजो का नाम आगे किया था। आम चुनाव मई में प्रस्तावित हैं।
पाकिस्तान में कार्यवाहक सरकार के गठन में अहम भूमिका निभाने के कयासों के बीच अब्दुल हाफिज शेख ने 19 फरवरी को वित्त मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया था। लेकिन, पीएमएल-एन पार्टी में शेख का नाम मंजूर नहीं हुआ। कुछ लोगों का मानना है कि वह फौज के करीबी हैं। आर्थिक मोर्चे पर भी नाकामी की वजह से शेख को आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था। इशरत हुसैन एक अग्रणी बैंकर और अर्थशास्त्री हैं, जो दिसंबर 1999 से दिसंबर 2005 के बीच स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान के प्रमुख रह चुके हैं।
मीर हाजर खान खोसो 1991 में बलूचिस्तान हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के पद से सेवानिवृत्त हो चुके हैं। 16 मार्च को कार्यकाल पूरा होने के बाद नेशनल एसेंबली भंग हो जाएगी। नियमों के मुताबिक, प्रधानमंत्री और विपक्ष के नेता कार्यवाहक सरकार के प्रमुख का चयन करते हैं। नेशनल एसेंबली भंग होने के तीन दिन के भीतर अगर इस पर सहमति नहीं बन पाती है तो वे इस पर फैसले के लिए तीन दिन के भीतर दो नाम संसदीय समिति को भेजेंगे। अगर यहां भी सहमति नहीं बन पाती है तो फिर इस पर मुख्य चुनाव आयुक्त फैसला करेंगे। (एजेंसी)
First Published: Thursday, March 14, 2013, 21:27