गुरुद्वारा हमले जैसी घटना पर आत्ममंथन जरूरी: ओबामा

गुरुद्वारा हमले जैसी घटना पर आत्ममंथन जरूरी: ओबामा

गुरुद्वारा हमले जैसी घटना पर आत्ममंथन जरूरी: ओबामावाशिंगटन : गुरुद्वारे में हमले में सिखों की हत्या पर दुख जताते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने हर अमेरिकी से आत्म परीक्षण करने और इसका रास्ता खोजने को कहा कि देश में फैल रही हिंसा को कम कैसे किया जाये।

अमेरिका में ऐसी हिंसक घटनाओं के बार बार होने पर चिंता जताते हुये ओबामा ने कहा, मैं समझता हूं कि हम सभी मानते हैं कि इस तरह की भयावह और दुखद घटनायें बेहद नियमितता से हो रही हैं। हमें कुछ आत्मपरीक्षण करना होगा और अतिरिक्त तरीके खोजना होगा कि हम हिंसा कैसे कम कर सकते हैं।

प्रात: काल की प्रार्थना की तैयारी कर रहे सिखों के प्रार्थनास्थल में गोलीबारी की घटना के दो दिन बाद व्हाइट हाउस में संवादादाताओं से ओबामा ने कहा, जो भी कुछ हुआ है उससे हम सब दुखी हैं। उल्लेखनीय है कि इस गोलीबारी में छह लोगों की मौत हो गयी थी। बाद में हमलावर को भी मार गिराया गया था।

ओबामा ने कहा कि अगर यह बात सामने आती है कि हमलावर ने किसी नस्ली नफरत के चलते इस हमले को अंजाम दिया है तो इससे सभी अमेरिकियों को गहरा धक्का लगेगा। उन्होंने कहा कि रविवार को हुयी घटना से वह अत्यंत दुखी हैं।
उन्होंने कहा, जैसा कि पिछली कुछ खबरों में संकेत मिला, अगर यह बात सामने आती है कि हमलावर गुरुद्वारे में जाने वाले लोगों की नस्ल के खिलाफ था तो सारे अमेरिकियों को इससे धक्का लगेगा। ओाबामा ने कहा, मुझे लगता है कि हमारे लिये बहुत जरूरी है कि इस बात की पुन:पुष्टि की जाये कि चाहे हम जैसे दिखें, जहां से आये हों, चाहे जिसे पूजते हों..हम एक हैं और एक दूसरे का सम्मान करते हैं।

अमेरिकी राष्ट्रपति ने एक सवाल के जवाब में कहा, अब तक हमें नहीं पता कि हमलावर ने किस भावना से इस भयंकर हमले को अंजाम दिया। इसी बीच एफबीआई ने साफ कर दिया कि इस हमले में वेड माइकल पेज के अलावा कोई अन्य शख्स शामिल नहीं है। एफबीआई ने कहा कि इस हमले को अंजाम देने के पीछे पेज के उद्देश्य की जांच हो रही है।
उल्लेखनीय है कि इस भयावह हमले को अंजाम देने वाला 40 साल का पेज अमेरिकी सेना के मनोविज्ञान अभियान का विशेषज्ञ रहा है। लोगों और कई संगठनों से पेज के बारे में पता चला है कि पेज ऐसे आयोजनों में हिस्सा ले चुका था जिनमें नफरत फैलाई जाती थी।

हमलावर श्वेतों को सर्वोच्च मानने वाले आंदोलन से जुड़ा था। वह एक ‘कुंठित नव नाज़ी’ था और श्वेत सत्ता से जुड़े एक नस्ली बैंड ‘एंड एपैथी’ का नेता था। दो सप्ताह पहले भी कोलोराडो के औरारा में एक थियेटर में फिल्म के प्रदर्शन के दौरान एक हमलावर ने अंधाधुंध गोलीबारी कर 12 लोगों की जान ले ली थी। (एजेंसी)

First Published: Tuesday, August 7, 2012, 21:11

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