Last Updated: Saturday, October 6, 2012, 20:50

इस्लामाबाद : क्रिकेटर से राजनेता बने इमरान खान के सैंकड़ों समर्थकों ने आज मोटरों के काफिले के साथ अमेरिकी ड्रोन हमलों के विरोध में आतंकवादी बहुल क्षेत्र दक्षिण वजीरिस्तान तक ‘शांति यात्रा’ निकाली।
लगभग 130 वाहनों के काफिले वाली इस शांति यात्रा में खान समेत तहरीक-ए-इंसाफ दल के प्रमुख नेता, पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी भी शामिल थे। ये लोग सरकार की ओर से जारी आत्मघाती हमलों की चेतावनियों के बावजूद इस रैली में शामिल हुए।
संवाददाताओं से बात करते हुए खान ने दावा किया कि तालिबान की ओर से इस यात्रा को कोई खतरा नहीं है। सिर्फ सरकार ही इसे रोकने की कोशिश कर रही है। खान ने कहा, वजीरीस्तान के कबीलाई लोगों को इस रैली के दौरान सुरक्षा मुहैया कराई जाएगी। इस यात्रा का समापन दक्षिण वजीरीस्तान के कोटकाई गांव में कल होने की संभावना है।
इमरान ने कहा, हम शांति के लिए काम कर रहे हैं। इसका विरोध कोई नहीं करता। हम कबीलाई इलाकों में नीति में बदलाव चाहते हैं और शांति बहाली के लिए बातचीत का रास्ता अपनाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर रैली को रोका जाता है तो वे इसके लिए सिर्फ सरकार और उसके सहयोगी जमीयत उलेमा-ए-इस्लाम के नेता मौलाना फैजल उर रहमान को ही दोषी ठहराएंगे।
इमरान ने कहा, फैजल उर रहमान हमें यहूदियों और इसाईयों का एजेंट बताकर हमारे बारे में जहर फैला रहा है। सरकार ड्रोन हमलों की निंदा करती है लेकिन गुप्त रूप से वह चाहती है कि आतंक के खिलाफ लड़ाई जारी रहे क्योंकि उसे इससे फायदा मिलता है। उन्होंने आगे कहा, सरकार की घोषित नीति कबीलाई इलाकों में शांति और कोई ड्रोन हमला न होना है। उन्हें तो इस रैली को रोकने के बजाय इसका लाभ लेना चाहिए।
टिवटर पर एक संदेश पोस्ट कर खान ने लिखा, हमने वैश्विक मंच के केंद्र में ड्रोन हमलों का मुद्दा रखा है। वैश्विक मीडिया ने इससे पहले कभी इस मामले पर इतना ध्यान नहीं दिया था। इस रैली में शामिल वाहनों पर पार्टी के हरे और लाल झंडों के साथ ही खान व अन्य नेताओं की तस्वीरों वाले पर्चे भी लगे थे। इन लोगों के अलावा इस रैली में अमेरिका और अन्य पश्चिमी देशों के लगभग 30 शांति कार्यकर्ता भी शामिल थे।
हालांकि ऐसी खबरें हैं कि खबर-पख्तूनख्वा की सरकार ने अपने क्षेत्र में विदेशियों को प्रवेश की अनुमति देने से इंकार किया है। रावलपिंडी शहर और खबर-पख्तूनख्वा की राजधानी पेशावर से भी कई लोगों ने इस रैली में भाग लिया। खान कई जगहों पर लोगों को संबोधित करेंगे। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के सदस्यों ने एक विशेष दल तैयार किया है जो खान समेत इस रैली में शामिल होने वाले अन्य लोगों को सुरक्षा देगा।
वहीं प्रतिबंधित तहरीक-ए-तालिबान ने खान और अन्य सभी पाक नेताओं को ‘पश्चिम का गुलाम’ बताते हुए कहा कि उनके संगठन ने इस रैली को सुरक्षा देने का कोई प्रस्ताव नहीं किया है। उत्तरपश्चिमी पाकिस्तान के अधिकारियों ने कहा है कि आतंकी समूहों ने कोटकई गांव के आसपास के क्षेत्र में नौ आत्मघाती हमलावर भेजे हैं। इसी क्षेत्र में रैली का समापन होना है। जियो न्यूज नामक समाचार चैनल ने सरकारी सूत्रों के हवाले से कहा कि ये बम हमलावर रैली में भाग लेने वालों को निशाना बना सकती है। (एजेंसी)
First Published: Saturday, October 6, 2012, 15:32