Last Updated: Friday, July 19, 2013, 22:25
नई दिल्ली : राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार शिव शंकर मेनन ने आज कहा कि भारत को साइबर जगत में निजता की परिभाषा बदलने की जरूरत है क्योंकि आज की दुनिया किसी ‘गोल्डफिश बावेल’ की तरह है जहां कुछ भी नहीं छिपा है।
मेनन ने देश के अहम क्षेत्रों के चुनिंदा प्रतिनिधियों से बातें करते हुए कहा कि कंप्यूटरों और साइबरस्पेस में ‘राष्ट्रीय महत्वपूर्ण सूचना बुनियादी ढांचा’ को सुरक्षित करने की जरूरत है ताकि यह ‘अपनी खुली और लोकतांत्रिक प्रकृति बरकरार’ रख सके।
मेनन ने कहा, ‘हमें दिमाग में यह रखना है कि हमें निजता को बनाए रखना है बल्कि उसी के साथ उसे सुरक्षित रखना है। अब ये अनिवार्यता हमेशा संघर्ष में नहीं होंगे, लेकिन इसका यह मतलब है कि हमें शायद निजता की परिभाषाएं बदलनी होंगी।’
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा, ‘कुछ चीजें हैं जिन्हें हम इस डोमेन में नहीं कर सकते। दूसरी बात, जिसे आप इस डोमेन में नहीं कर सकते और गोपनीय रख सकते, जो शायद आप अपने पुराने दिनों में किया करते होंगे। आज, चाहे आप पसंद करें या नहीं यह एक गोल्ड फिश बावेल है और हमें हर दिन बार-बार इसकी याद दिलाई जाती है जब हम मीडिया में इस बाबत कहानी पढ़ते हैं कि कैसे विभिन्न लोग स्नूपिंग का उपयोग कर रहे हैं।’ (एजेंसी)
First Published: Friday, July 19, 2013, 22:25