Last Updated: Wednesday, March 21, 2012, 07:34

भुवनेश्वर : ओडिशा में नक्सलियों द्वारा पिछले सप्ताह अगवा किए गए इटली के दो नागरिकों के भविष्य को लेकर बुधवार को भी अनिश्चितता बनी रही, क्योंकि अब तक यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि नक्सलियों का प्रतिनिधित्व कौन करेगा। यह जानकारी एक वरिष्ठ अधिकारी ने दी है। नक्सलियों ने मंगलवार देर शाम, मांगें स्वीकार करने के लिए सरकार को दी गई समय सीमा बुधवार शाम तक बढ़ा दी थी। लेकिन वार्ताकारों की चयन प्रक्रिया बार-बार बाधित हो रही है।
नक्सलियों ने सोमवार देर शाम तीन मध्यस्थों के नाम की घोषणा की थी, उनमें वरिष्ठ नक्सली नारायण सान्याल, सामाजिक कार्यकर्ता दंडपाणि मोहंती और मानवाधिकार कार्यकर्ता व अधिवक्ता बिश्वप्रिय कानूनगो शामिल थे। कानूनगो ने जहां तत्काल मध्यस्थता करने से इंकार कर दिया, वहीं मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने मंगलवार शाम नारायण सान्याल को मध्यस्थ के तौर पर स्वीकार करने से इंकार कर दिया, क्योंकि वह आजीवन कारावास की सजा काट रहा है। पटनायक ने नक्सलियों से दूसरे नाम सुझाने को कहा। उसके बाद नक्सलियों ने मानवाधिकार कार्यकर्ता प्रफुल्ल सामोंत्रा और जनजातीय मामलों के विशेषज्ञ बी.डी. शर्मा के नाम घोषित किए। लेकिन सामोंत्रा ने भी यह कहते हुए मध्यस्थता करने से इंकार कर दिया कि उन्हें सरकार पर बिल्कुल भरोसा नहीं है।
राज्य में विभिन्न औद्योगिक परियोजनाओं के कारण हुए विस्थापनों का विरोध करने वाले सामोंत्रा ने कहा कि क्या सरकार ने उनपर या उनके आंदोलन पर विश्वास किया। उन्होंने कहा कि सरकार के साथ बातचीत करने का कोई अर्थ नहीं है। राज्य के गृह विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि जब तक नक्सली यह स्पष्ट नहीं कर देते कि उनका प्रतिनिधित्व कौन करेगा, तबतक बातचीत शुरू हो पाना बहुत कठिन है। राज्य सरकार ने कहा है कि तीन वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी- पीके जेना, संतोष सारंगी और यूएन बेहरा बातचीत में हिस्सा लेंगे। अधिकारी ने कहा कि अब गेंद नक्सलियों के पाले में है।
ज्ञात हो कि नक्सलियों ने बोसुस्को पाओलो और क्लाउडिओ कोलैंजेलो को 14 मार्च को कंधमाल जिले से अगवा कर लिया था। नक्सलियों ने और राज्य सरकार ने कहा है कि बंधक सुरक्षित हैं और उनका स्वास्थ्य बेहतर है। अपहर्ताओं ने रिहाई के लिए 13 सूत्री मांगे रखी हैं। उन्होंने इसके पहले मांगे मानने के लिए मंगलवार शाम तक की समय सीमा निर्धारित की थी।
(एजेंसी)
First Published: Wednesday, March 21, 2012, 13:04