Last Updated: Saturday, June 23, 2012, 01:02
नई दिल्ली : कांग्रेस ने शुक्रवार को राष्ट्रपति पद के संप्रग उम्मीदवार प्रणब मुखर्जी के साथ बहस की विपक्षी उम्मीदवार पीए संगमा की मांग को खारिज कर दिया और कहा कि भारत के राष्ट्रपति से यह उम्मीद नहीं की जाती है कि वह देश की अर्थ व्यवस्था का प्रबंधन करे। कांग्रेस प्रवक्ता मनीष तिवारी ने यहां संवाददाताओं से कहा कि संविधान इस बात की आज्ञा या आदेश नहीं देता कि भारत का राष्ट्रपति देश की अर्थव्यवस्था का प्रबंध करे। इसलिए बहस की बात अतार्किक है।
तिवारी संगमा की उन टिप्पणियों के बारे में पूछे गये सवालों का जवाब दे रहे थे जिसमें उन्होंने कहा है कि देश की अर्थव्यवस्था खराब स्थिति में है और उन्होंने मुखर्जी के साथ बहस की मांग की । संगमा ने कहा कि लोकतंत्र में लोगों को चुनने का अधिकार है और ऐसे वक्त में परिचर्चा की आवश्यकता है जब अर्थव्यवस्था डूब रही है और अविश्वसनीय घोटाले हो रहे हैं।
तिवारी ने भाजपा के उस आरोप को भी खारिज कर दिया कि संप्रग ने राष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार का नाम तय करने के पहले विपक्ष से बातचीत नहीं की जिसके कारण उम्मीदवार के बारे में आमसहमति नहीं बन पाई। कांग्रेस नेता ने कहा कि अगर किसी ने तय कर लिया है कि उसे महज चुनाव लड़ने के लिए लड़ना है तो वह इस तरह के बहाने ढूंढ लेगा और भाजपा निश्चित रूप से यही कर रही है। तिवारी ने सभी दलों से मुखर्जी की उम्मीदवारी को समर्थन दिये जाने की अपील को दोहराया और उम्मीद जताई कि जो लोग अभी विरोध कर रहे हैं वे भी अपने रुख पर पुनर्विचार करेंगे। (एजेंसी)
First Published: Saturday, June 23, 2012, 01:02