Last Updated: Wednesday, August 22, 2012, 18:57

नई दिल्ली: कोयला ब्लॉक आवंटन में कथित अनियमितता के मुद्दे पर भाजपा आज भी प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के इस्तीफे पर अड़ी रही और कहा कि संसद में गतिरोध समाप्त करने का एकमात्र रास्ता यही है कि कैग की रिपोर्ट के मुताबिक हुए 1.86 लाख करोड़ रुपये के नुकसान की जिम्मेदारी प्रधानमंत्री लें।
राज्यसभा में विपक्ष के नेता अरुण जेटली ने 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन घोटाला और कोयला ब्लॉक आवंटन विवाद की तुलना करते हुए संवाददाताओं से कहा कि 2जी घोटाले में जहां प्रधानमंत्री राजनीतिक तौर पर और अप्रत्यक्ष रूप से जिम्मेदार हैं वहीं कोयला मामले में वह सीधे तौर पर शामिल हैं।
जेटली ने कहा, ‘‘संसद में गतिरोध समाप्त करने का एकमात्र रास्ता यही है कि प्रधानमंत्री जिम्मेदारी लें और उसके मुताबिक कार्रवाई करें।’’ उन्होंने कहा कि इतने भारी नुकसान के लिए प्रधानमंत्री अपनी जिम्मेदारी से नहीं बच सकते।
मुख्य विपक्षी पार्टी ने प्रधानमंत्री की उस सफाई को भी सिरे से खारिज कर दिया जिसमें उन्होंने इस विषय पर सदन में चर्चा कराने का सुझाव दिया था। भाजपा ने कहा कि सरकार इन विषयों पर कभी गंभीर नहीं रही और दोषियों को दंडित करने के लिए कोई पहल नहीं की। पार्टी के वरिष्ठ नेता लाल कृष्ण आडवाणी ने आज सुबह संसदीय दल की बैठक में कहा, ‘‘यह सरकार देश पर भार बन गई है और देश के उपर धब्बा है। इसलिए इस सरकार को जाना चाहिए।’’ उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के इस्तीफे की मांग पर पार्टी कायम रहेगी।
भाजपा की दलील है कि 2004 में कोयला ब्लॉक की नीलामी का फैसला किया गया था लेकिन आठ साल बाद भी इसे लागू नहीं किया गया है।
पार्टी ने केंद्र की इस दलील को खारिज कर दिया कि कुछ राज्यों ने नीलामी का विरोध किया था। भाजपा के मुताबिक कोयला केंद्र की सूची में आता है और राज्यों का इसमें कोई अधिकार नहीं है।
जावड़ेकर ने कहा कि भाजपा के जिन मुख्यमंत्रियों की सलाह की बात कही जा रही है, वह केवल राय थी और कांग्रेस के भी कुछ मुख्यमंत्रियों ने इसी तरह की अपनी राय दी थी।
जावड़ेकर ने आरोप लगाया कि कांग्रेस पहले घोटाले के आरोपों को खारिज करती है फिर मामले को लंबा खींचती है। इन दोनों के विफल हो जाने पर लोक लेखा समिति तथा संयुक्त संसदीय समिति पर हमला करती है।
उन्होंने कहा कि कोयला मंत्री श्रीप्रकाश जायसवाल ने भी कपिल सिब्बल द्वारा 2जी घोटाले में ‘कोई घाटा नहीं होने’ के सिद्धांत की तरह कहा कि खदानों से अब तक कोयला निकाला ही नहीं गया।
संवाददाताओं के सवाल पर जावड़ेकर ने भरोसा जताते हुए कहा, ‘‘प्रधानमंत्री इस्तीफा देंगे और संसद चलेगी।’’
भाजपा प्रवक्ता प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि जिस तरह से 2जी घोटाले में पूर्व मंत्री ए राजा और एयरसैल-मैक्सिस घोटाले में दयानिधि मारन को इस्तीफा देना पड़ा, उसी तरह 2006 से 2009 तक कोयला मंत्री रहे प्रधानमंत्री को इस्तीफा देना होगा। गौरतलब है कि कोयला ब्लॉक आवंटन पर कैग की रिपोर्ट को लेकर पिछले दो दिन से संसद में कार्यवाही ठप है। (एजेंसी)
First Published: Wednesday, August 22, 2012, 16:35