Last Updated: Tuesday, June 12, 2012, 08:47

वाराणसी: टीम अन्ना की प्रमुख सदस्य किरण बेदी ने कहा है कि उन्होंने प्रधानमंत्री डॉं. मनमोहन सिंह को नहीं बल्कि प्रधानमंत्री कार्यालय को धृतराष्ट्र करार दिया था।
अन्ना संदेश यात्रा के वाराणसी आगमन पर उसमें हिस्सा लेने आयी किरण ने संवाददाताओं से कहा, भ्रष्टाचार में लिप्त 14 कैबिनेट मंत्रियों समेत अन्य प्रकारणों की जानकारी होते हुए भी पीएमओ ने कोई कदम नहीं उठाये और चुप्पी साध ली। इस आधार पर हमने पीएमओ के खिलाफ उक्त टिप्पणी की थी । हमें किसी व्यक्ति या राजनीतिक दल से कोई सरोकार नहीं ।
बंदी ने कहा कि व्यक्तिगत तौर पर में डॉक्टर मनमोहन सिंह का बहुत सम्मान करता हूं यह बहुत योग्य व्यक्ति है लेकिन आसपास के घटनाओं की जानकारी यदि उन्हें नहीं है तो इसके लिए प्रधानमंत्री कार्यालय ही धृतराष्ट्र की भूमिका में है । महाभारत के धृतराष्ट्र अच्छे लेकिन कमजोर इंसान थे । विदुर की बातों को नजरअंदाज कर यह न्याय करने के बजाय दुर्योधन के पक्ष में खामोश रहे ।
बेदी ने कहा, ‘यदि हमलोगों पर कोई आरोप है तो उसकी जांच के साथ भ्रष्टाचार में लिप्त मंत्रियों की भी पड़ताल भी हो। जांच सीबीआई से कराने के बजाय किसी खास एजेंसी से करायी जाय।’
किरण दोपहर को राजघाट स्थित सर्वसेवा संघ में इंडिया अगेंस्ट करप्शन के स्थानीय कार्यकर्ताओं से मिलने के बाद तेलियाबाग स्थित पटेल धर्मशाला में आयोजित जनसम्मेलन में शामिल हुई । इस दौरान उन्होंने जनलोकपाल मुद्दे पर 25 जुलाई को शुरू होने वाले अनशन में हिस्सेदारी की अपील की। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, June 12, 2012, 08:47