Last Updated: Saturday, December 29, 2012, 19:04

नई दिल्ली : शनिवार तड़के सिंगापुर में अंतिम सांस लेने वाली दिल्ली गैगरेप की शिकार पीड़िता मूलरूप से उत्तर प्रदेश की रहने वाली थी और उसने अपने स्कूल और कॉलेज का शुल्क चुकाने के लिए ट्यूशन भी पढ़ाया था।
उत्तर प्रदेश के एक परिवार से आने वाली इस बहादुर लड़की के बारे में परिवार के मित्रों का कहना है कि वह कठिन परिश्रम करने वाली और जीवन में आगे बढ़ने की इच्छा रखने वाली लड़की थी।
परिवार से जुड़े करीबी सूत्रों ने बताया कि पीड़िता का परिवार काफी पहले दिल्ली आ चुका था और दक्षिण दिल्ली के एक मध्यमवर्गीय इलाके में अपना रच-बश गया। इसी जगह 23 साल पहले इस लड़की का जन्म हुआ।
पिता ने अपनी लड़की की प्रतिभा को देखते हुए उच्च शिक्षा की पढ़ाई के लिए ऋण लिया। अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद वह फिजियोथेरेपिस्ट का प्रशिक्षण लेने के लिए देहरादून चली गई। दिल्ली लौटने के बाद वह उत्तरी दिल्ली के एक निजी अस्पताल में प्रशिक्षु के तौर पर काम करने लगी।
सबसे बड़ी होने के नाते परिवार चाहता था कि वह सफलता प्राप्त करे जिससे उसके दो छोटे भाइयों को भी प्रेरणा मिले।
एक सूत्र ने बताया, ‘सभी की तरह इस परिवार ने भी सपने देखा था कि उनकी लड़की को अच्छी नौकरी और अच्छा वेतन मिले।’
लेकिन इस परिवार के सपने 16 दिसंबर की रात चकनाचूर हो गए जब छह युवकों ने इस लड़की के साथ सामूहिक बलात्कार किया और उसके साथ हैवानियत से पेश आए। (एजेंसी)
First Published: Saturday, December 29, 2012, 18:40