बाल ठाकरे को लाखों लोगों ने दी भावभीनी विदाई

बाल ठाकरे को लाखों लोगों ने दी भावभीनी विदाई

बाल ठाकरे को लाखों लोगों ने दी भावभीनी विदाई मुंबई : हिंदूत्ववादी नेता और मराठी स्वाभिमान के झंडाबरदार बाल ठाकरे रविवार को पंचतत्व में विलीन हो गए। उनको लाखों लोगों ने अश्रुपूर्ण नेत्रों से भावभीनी विदाई दी जबकि महानगर लगभग बंद रहा। ठाकरे के बांद्रा स्थित घर ‘मातोश्री’ से शिवाजी पार्क की सड़क पर उनकी अंतिम झलक पाने के लिए लाखों लोग सड़कों पर उमड़ पड़े।

उनकी मौत पर मुंबई रविवार को लगभग बंद रही और बड़े-बड़े मॉल से लेकर छोटी चाय की दुकानें और ‘पान बीड़ी’ की दुकानें भी बंद रहीं।

शव यात्रा के दौरान ‘परत या परत या बालासाहेब परत या (लौट आओ, लौट आओ, बालासाहेब लौट आओ), कौन आला रे, कौन आला शिवसेनेचा वाघ आला (कौन आया, कौन आया, शिवसेना का बाघ आया) और ‘बाला साहेब अमर रहे’ के नारे लगते रहे। उनके सबसे छोटे बेटे और शिवसेना के कार्यकारी अध्यक्ष उद्धव ने उन्हें मुखाग्नि दी।

उनकी शव यात्रा में कई नेता (जिसमें सहयोगी से लेकर विपक्षी तक शामिल थे), फिल्म अभिनेता से उद्योगपति तक शामिल हुए।

शव यात्रा के दौरान लंबे समय तक राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी और मित्र रहे शरद पवार, भाजपा प्रमुख नितिन गडकरी, लालकृष्ण आडवाणी, लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज, राज्यसभा में विपक्ष के नेता अरुण जेटली, गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी, मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और केंद्रीय मंत्री प्रफुल्ल पटेल और राजीव शुक्ला उपस्थित रहे । शिवसेना के पूर्व नेता छगन भुजबल और शिवसेना छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए संजय निरूपम भी वहां मौजूद रहे।

ठाकरे ने महाराष्ट्र की कई पीढ़ियों का नेतृत्व किया था। सरकार ने शिवाजी पार्क में उनके अंतिम संस्कार करने को मंजूरी दी जो पहले इस तरह की किसी घटना का स्थान नहीं रहा। उनका राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया जो 1920 में बाल गंगाधर तिलक को दिए गए सम्मान के बाद पहला सार्वजनिक अंतिम संस्कार था।

शिवसेना के संरक्षक के शव पर राज्यपाल के. शंकरनारायणन और मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने पुष्पचक्र अर्पित किया।

मुंबई पुलिस के एक दस्ते ने उन्हें बंदूक की सलामी दी। यह सम्मान बिना आधिकारिक पद वाले किसी व्यक्ति को विरले ही मिलता है। (एजेंसी)

First Published: Sunday, November 18, 2012, 20:07

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