भाजपा को केंद्र में सत्ता दिला पाएंगे नरेंद मोदी?

भाजपा को केंद्र में सत्ता दिला पाएंगे नरेंद मोदी?

भाजपा को केंद्र में सत्ता दिला पाएंगे नरेंद मोदी?ज़ी मीडिया ब्यूरो
नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी ने आखिरकार नरेंद मोदी को शुक्रवार की शाम प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित कर दिया है। भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने पार्टी संसदीय बोर्ड की बैठक के बाद इसकी घोषणा की। उन्होंने कहा कि देश के मूड को देखते हुए यह फैसला किया गया। इस मौके पर लालकृष्ण आडवाणी को छोड़कर भाजपा के सभी बड़े नेता मौजूद थे। अब नरेंद्र मोदी के सहारे भाजपा केंद्र में एक बार फिर सत्ता में आने के लिए कमर कस चुकी है। नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री का उम्मीदवार बनाए जाने से देश भर में भाजपा कार्यकर्ताओं में खुशी की लहर है। पर यह सवाल उठता है कि क्या मोदी 2014 के आम चुनाव में केंद्र में भाजपा की सरकार बनाने में सफल होंगे?

मोदी के नाम पर औपचारिक मुहर लगाने के लिए बुलाई संसदीय बोर्ड की बैठक को लेकर पार्टी मुख्यालय में उत्सव जैसा नजारा था। संसदीय बोर्ड की बैठक में लोकसभा और राज्य सभा के नेता प्रतिपक्ष क्रमश: सुषमा स्वराज और अरुण जेटली ने तो हिस्सा लिया, लेकिन पार्टी के कद्दावर नेता और पिछले आम चुनाव में पीएम इन वेटिंग रहे लालकृष्ण आडवाणी किनारे ही रहे। भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में औपचारिक घोषणा की और मोदी ने दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र की सत्ता पर पार्टी की वापसी सुनिश्चित करने के लिए हर कुछ करने का वचन दिया।

राजनाथ ने कहा कि हम पूर्व में भी चुनाव से पहले प्रधानमंत्री पद के प्रत्याशी की घोषणा करते रहे हैं। अगले आम चुनाव के लिए किसे प्रत्याशी बनाया जाए इस पर विचार करने के लिए हमने शुक्रवार को संसदीय बोर्ड की बैठक बुलाई थी जिसमें इस मुद्दे पर विचार किया गया। राजनाथ ने कहा, जनता की भावना को देखते हुए हमने मोदी को प्रधानमंत्री का प्रत्याशी बनाने का फैसला लिया। राजनाथ ने घोषणा के बाद मोदी को संसदीय बोर्ड की तरफ से बधाई दी। घोषणा के बाद मोदी ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि एक साधारण परिवार और कस्बे में जन्मे व्यक्ति को देश की जिम्मेदारी सौंपी है।

पार्टी के बड़े नेताओं से घिरे आत्मविश्वास से लबरेज मोदी ने कहा, मैं वादा करता हूं कि 2014 के चुनाव में भाजपा विजयी होकर उभरेगी। इसके लिए पार्टी को कड़ी मेहनत करनी होगी और हम कोई कसर बाकी नहीं रखेंगे। उन्होंने कहा कि देश संकट के दौर से गुजर रहा है। उन्होंने कहा, मुझे उम्मीद है कि कश्मीर से कन्याकुमारी तक के लोग कमल चुनाव चिन्ह को वोट देंगे। लेकिन जून से मोदी के उन्नयन का विरोध कर रहे आडवाणी इस बार भी अपनी नाखुशी जाहिर करने के लिए संसदीय बोर्ड की बैठक से दूर रहे।

प्रत्याशी बनाने की घोषणा के बाद पार्टी अध्यक्ष ने मीडिया को यह बताया कि मोदी आडवाणी जी का आशीर्वाद लेने जा रहे हैं, लेकिन उनकी अनुपस्थिति के कारण के बारे में एक शब्द भी नहीं बताया। आडवाणी की बैठक से दूरी बनाए रखने का कारण छिपाते हुए राजनाथ ने कहा, मैं आप लोगों को बता दूं कि आडवाणी जी का आशीर्वाद लेने के लिए मोदी जी जा रहे हैं।

राजनाथ सिंह ने दावा किया कि भाजपा के इस फैसले से राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के सभी घटक सहमत हैं और सभी ने मोदी को प्रत्याशी बनाए जाने का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि सभी घटक दलों के अध्यक्षों से बातचीत की गई है। इससे पहले मोदी के नाम पर सहमति बनाने के लिए राजनाथ सिंह दो दिनों तक जोशोखरोश से जुटे रहे। मोदी के नाम पर कन्नी काट रहे नेताओं को मनाने के लिए मेलमुलाकातों का दौर चलता रहा।

उधर मोदी को प्रत्याशी बनाए जाने की घोषणा के बाद उत्तर प्रदेश, बिहार, दिल्ली, गुजरात व अन्य कई राज्यों में भाजपा कार्यकर्ताओं ने उत्सव मनाया। एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में मोदी को नामित किए जाने के तुरंत बाद ही कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री और कर्नाटक जनता पार्टी के नेता बी. एस. येदियुरप्पा ने पार्टी में वापसी का संकेत दिया।

First Published: Saturday, September 14, 2013, 10:11

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