Last Updated: Saturday, October 27, 2012, 22:31

नई दिल्ली : ‘तीसरे मोर्चे’ के गठन में अब तक हाथ आई नाकामी के बावजूद समाजवादी पार्टी प्रमुख मुलायम सिंह यादव ने आज एक गैर-कांग्रेस, गैर-भाजपा मोर्चे के गठन के प्रति अपना समर्थन जाहिर किया और केंद्र की संप्रग सरकार में शामिल होने से इंकार किया। भाकपा और तेलुगु देशम पार्टी के नेताओं ने भी इस विचार का समर्थन किया और ‘वैकल्पिक राजनीति’ को आकार देने में मुलायम से अगुवाई करने को कहा।
यादव, भाकपा के ए बी वर्धन और तेदेपा के एन. नागेश्वर राव के अलावा कई अन्य नेताओं ने उस प्रस्ताव का समर्थन किया जिसमें एक राजनीतिक संरचना के रूप में एक ‘वैकल्पिक राजनीति’ के गठन की जरूरत बताई गयी है। जब दोनों बड़े राजनीतिक दल सरकार बनाने में नाकाम होंगे तो यह संगठन विकल्प मुहैया करा सकता है।
दिवंगत समाजवादी नेता राम मनोहर लोहिया के लोकसभा में दिए गए भाषणों पर आधारित एक पुस्तक के विमोचन के मौके पर ये नेता इकट्ठा हुए थे। अखिल भारतीय फॉरवर्ड ब्लॉक के नेता देवब्रत विश्वास, पूर्व न्यायाधीश राजिंदर सच्चर और जाने माने पत्रकार एवं लेखक कुलदीप नैयर भी इस अवसर पर मौजूद थे।
भाकपा नेता डी. राजा ने बाद में कहा कि वह प्रस्ताव का हिस्सा नहीं है। बहरहाल, उन्होंने यह कहते हुए इस विचार का समर्थन किया कि एक शुरुआत हुई है लिहाजा देश के सामने एक विकल्प देने के लिए ताजा पहल किए जाने की जरूरत है। राजा ने भी कहा कि कांग्रेस और भाजपा दोनों ही जनता की अपेक्षा पर खरे नहीं उतरे हैं। नेताओं ने प्रस्ताव की एक पंक्ति पर आपत्ति जताई जिसमें यह कहा गया था कि समूह के सदस्य साल 2014 के लोकसभा चुनावों में एक ही चुनाव चिह्न पर चुनाव लड़ें। बाद में इस पंक्ति को हटा दिया गया था।
बाद में संवाददाताओं से बातचीत में मुलायम सिंह यादव ने केंद्र की संप्रग सरकार में शामिल होने से इंकार किया। यह सवाल किए जाने पर कि क्या उन्हें मनमोहन सिंह मंत्रिमंडल में शामिल होने का न्योता दिया गया है, इस पर यादव ने कहा, ‘न तो प्रधानमंत्री ने इस बाबत मुझसे बात की है और न ही सपा ने कभी सरकार में शामिल होने पर विचार किया।’ (एजेंसी)
First Published: Saturday, October 27, 2012, 22:30