Last Updated: Wednesday, December 28, 2011, 07:08
नई दिल्ली : राज्यसभा में आज ‘रानी लक्ष्मी बाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय विधेयक, 2011’ पेश किए जाने पर माकपा की आपत्ति को खारिज करने के बाद इस पर मत विभाजन की मांग पर अड़े विपक्ष के हंगामे के कारण बैठक शुरू होने के एक घंटे के भीतर कार्रवाई को तीन बार स्थगित करना पड़ा।
सदन की बैठक शुरू होने पर उप सभापति के रहमान खान ने आवश्यक दस्तावेज पटल पर रखवाए। इसके बाद मानव संसाधन विकास मंत्री कपिल सिब्बल ने ‘उच्चतर शिक्षा और अनुसंधान विधेयक 2011’ पेश किया। फिर कृषि मंत्री शरद पवार ने बुंदेलखंड क्षेत्र में कृषि के विकास के लिए एक विश्वविद्यालय की स्थापना और उसके निगमन के लिए ‘रानी लक्ष्मी बाई केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय विधेयक 2011’ पेश किया।
माकपा के पी राजीव ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि संविधान के अनुसार, विश्वविद्यालाय का निगमन संघ सूची में शामिल नहीं है अत: सरकार को यह विधेयक पेश करने का अधिकार नहीं है। कृषि मंत्री पवार ने कहा कि केंद्र ने पूर्व में इम्फाल में कृषि विश्वविद्यालय स्थापित किया है और उसे ऐसा करने का अधिकार है। इस पर राजीव ने संघ सूची के प्रावधान 44 का हवाला दिया और पीठ से व्यवस्था देने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि पुराने उदाहरण दे कर नियम का उल्लंघन नहीं किया जा सकता।
भाजपा के चंदन मित्रा ने राजीव का समर्थन करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय का निगमन संघ सूची में नहीं बल्कि राज्य सूची में आता है।
(एजेंसी)
First Published: Wednesday, December 28, 2011, 14:04