संवैधानिक संस्थाओं पर प्रहार कर रही कांग्रेस : जोशी

संवैधानिक संस्थाओं पर प्रहार कर रही कांग्रेस : जोशी

संवैधानिक संस्थाओं पर प्रहार कर रही कांग्रेस : जोशीलखनऊ : भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और संसदीय लोक लेखा समिति (पीएसी) के अध्यक्ष डॉ. मुरली मनोहर जोशी ने आरोप लगाया है कि कांग्रेस पार्टी निरंतर इस कोशिश में लगी है कि केंद्र में सत्तारुढ़ संप्रग सरकार का भ्रष्टाचार जनता के सामने उजागर नहीं होने पाए।

जोशी ने रविवार को यहां संवाददाताओं से कहा, ‘कांग्रेस की तरफ से निरंतर यह कोशिश चल रही है कि सरकार का भ्रष्टाचार जनता के सामने उजागर न होने पाए। यही वजह है कि जब भी कोई संवैधानिक संगठन सरकार के भ्रष्टाचार का खुलासा करता है, कांग्रेस के नेता उस पर ही आरोप मढ़ने लगते हैं।’ उन्होंने कहा कि पहले प्रधानमंत्री ने कोल ब्लॉक आवंटन में हुई अनियमितता के बारे में महालेखा नियंत्रक एवं परीक्षक (कैग) की रिपोर्ट के तथ्यों की सत्यता पर सवाल उठाए और इस आवंटन से सरकार को हुए नुकसान के आंकलन के आधार को गलत बताया, जबकि उनके बाद कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने कैग की नीयत पर ही सवाल खड़े कर दिये।

जोशी ने कहा, ‘दिग्विजय सिंह ने तो यहां तक आरोप लगा दिये कि कैग की अपनी राजनीतिक महत्वाकांक्षाएं हैं और उनकी रिपोर्ट राजनीतिक फायदा लेने की मंशा से प्रेरित है। उन्होंने यह भी कहा कि कैग तो विपक्ष के साथ है।’ यह बताते हुए कि कैग पर न तो कोई टिप्पणी हो सकती है और न ही कोई आरोप लगाया जा सकता है, डॉ. जोशी ने कहा कि वर्ष 1960 में तत्कालीन रक्षामंत्री कृष्ण मेनन ने कैग के विरुद्ध टिप्पणी की थी और उस पर अवमानना की नोटिस आ गयी थी। इस पर तत्कालीन लोकसभा अध्यक्ष ने अपनी व्यवस्था देते हुए उस टिप्पणी को संविधान विरोधी बताया था और कृष्ण मेनन को अपनी टिप्पणी पर खेद प्रकट करना पड़ा था।

जोशी ने कहा, ‘कैग ने किसी व्यक्ति के विरुद्ध कोई आरोप नहीं लगाया है। कैग ने सिर्फ यह कहा है कि जिस तरीके से कोल ब्लॉक आवंटित किए गए हैं, उससे निजी पार्टियों को फायदा और सरकारी खजाने को भारी नुकसान हुआ है।’ उन्होंने इस संबंध में वित्तमंत्री पी. चिदंबरम की ‘जीरो लॉस’ (कोई नुकसान नहीं) संबंधी टिप्पणी को हास्यास्पद बताते हुए सवाल किया कि आखिर आवंटन के छह-सात साल बीत जाने के बाद भी उन कोल ब्लॉकों से कोयले का खनन क्यों नहीं शुरू किया गया। उन्होंने यह भी कहा कि पीएसी का अध्यक्ष होने के नाते यह उनका दायित्व है कि वे इस बात पर नजर रखें कि जनता की गाढ़ी कमाई का पैसा कहां जा रहा है और किस तरह से खर्च हो रहा है।

जोशी ने कहा कि सभी घोटालों की निष्पक्षता से जांच होनी चाहिए और प्रधानमंत्री को इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि वे ऐसी कोई टिप्पणी नहीं करें, जिससे कि जांच प्रभावित होती हो। उन्होंने कहा कि कैग एक अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त संवैधानिक संस्था है और इसकी विश्वसनीयता का अवमूल्यन किसी भी तरह से उचित नहीं है। कोल ब्लॉक आवंटन मामले पर भाजपा की भावी रणनीति के बारे में पूछे जाने पर जोशी ने कहा कि इसका फैसला सोमवार को दिल्ली में होने वाली पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की बैठक में किया जाएगा।

सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव के बयान की आलोचना करते हुए जोशी ने कहा कि उनके बयान ‘मुसलमानों के साथ धोखा बर्दाश्त नहीं किया जाएगा’ समाज की एकता के लिए खतरनाक है। डॉ. जोशी ने कहा, ‘धोखा किसी के भी साथ नहीं होना चाहिए और समाज के हर व्यक्ति को न्याय मिलना चाहिए।’ मुसलमानों की आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक स्थिति के बारे में रंगनाथ आयोग तथा सच्चर कमेटी की सिफारिशों का मामला उठाया जा रहा है, मगर पहले उनकी रिपोर्ट के तथ्यों एवं सुझावों पर व्यापक चर्चा होनी चाहिए।

भाजपा नेता ने यह भी कहा कि महाराष्ट्र नव निर्माण सेना (मनसे) के अध्यक्ष राज ठाकरे को भाषाई और क्षेत्रीय आधार पर भेदभाव पैदा करने वाली टिप्पणियां करना बंद कर देनी चाहिए। देश की एकता के लिए यह ठीक नहीं है। उन्होंने इसी क्रम में कहा, ‘उत्तर प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री गोविंद बल्लभ पंत के पुरखे महाराष्ट्र से आए थे, मगर किसी ने तब यह बात नहीं उठाई। यह देश सभी नागरिकों का है और भारत का कोई भी नागरिक भारत के किसी भी भाग में रह सकता है।’ जोशी ने कहा कि भाजपा विघटनकारी ताकतों का हर स्तर पर विरोध करती है और किसी को भी देश के सामाजिक ताने बाने को नुकसान पहुंचाने की इजाजत नहीं दी जाएगी। (एजेंसी)

First Published: Sunday, September 2, 2012, 19:04

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