सपा नेता और राज्यसभा सांसद मोहन सिंह नहीं रहे

सपा नेता और राज्यसभा सांसद मोहन सिंह नहीं रहे

सपा नेता और राज्यसभा सांसद मोहन सिंह नहीं रहेज़ी मीडिया ब्यूरो
नई दिल्ली/लखनऊ : समाजवादी नेता और सपा से राज्यसभा सदस्य मोहन सिंह (70) का रविवार शाम कैंसर से लम्बे संघर्ष के बाद अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में निधन हो गया। पारिवारिक सूत्रों ने इस आशय की जानकारी दी है।

पार्टी प्रवक्ता राजेन्द्र चौधरी ने बताया कि सिंह पिछले कुछ समय से बीमार चल रहे थे और उन्हें 18 सितंबर को इलाज के लिए एम्स में भर्ती कराया गया था। एम्स के चिकित्सा अधीक्षक पीके शर्मा ने कहा कि सिंह को एक सप्ताह पहले एम्स में भर्ती कराया गया था और वह ब्लड कैंसर से पीड़ित थे।

उन्होंने कहा कि समाजवादी नेता को कल दोपहर बाद ढाई बजे सघन चिकित्सा इकाई (आईसीयू) में ले जाया गया और आज सवा चार बजे उनका निधन हो गया। दिवंगत मोहन सिंह के पार्थिव शरीर को एम्स से पंडारा रोड स्थित उनके आवास पर लाया जायेगा और इसके बाद कल लखनऊ में विक्रमादित्य मार्ग पर पार्टी कार्यालय में जनता के दर्शनार्थ रखा जायेगा। उनका अंतिम संस्कार देवरिया में उनके गृह क्षेत्र में किया जायेगा।

समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सांसद मोहन सिंह के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने अपनी श्रद्धांजलि में कहा कि मोहन सिंह का निधन अपूरणीय क्षति है। उन्होंने अपना पूरा जीवन समाजवादी विचारधारा के लिए लगा दिया। उनकी कमी हमेशा खलेगी।

प्रवक्ता ने बताया कि सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव और अखिलेश यादव के अलावा राज्य विधानसभा अध्यक्ष माता प्रसाद पांडे और अन्य नेताओं ने सिंह के निधन पर शोक व्यक्त किया है। सिंह तीन बार लोकसभा सदस्य रहे और उत्तरप्रदेश में कैबिनेट मंत्री भी रहे।

सपा नेताओं ने लखनऊ में कहा, ‘मोहन सिंह ने अपना पूरा जीवन समाजवादी विचारधारा के लिये समर्पित कर दिया। वह समाजवादी पार्टी को मजबूत करने के लिये हमेशा चितिंत रहते थे, उनकी कमी हमेशा खलेगी।’ मोहन सिंह ने अपने राजनैतिक जीवन की शुरूआत डॉ. राम मनोहर लोहिया के विचारों से प्रभावित होकर की थी। उन्हें डॉ. लोहिया का सानिध्य प्राप्त था तथा वह इलाहाबाद विश्वविद्यालय छात्र संघ के अध्यक्ष भी रहे।

उन्होंने छात्रों एवं युवा आंदोलनों का भी नेतृत्व किया तथा आपातकाल के खिलाफ आवाज उठाने के कारण 1975-76 में जेल भी गये। मोहन सिंह ने देवरिया का लोकसभा में प्रतिनिधित्व भी किया था और वह उत्तर प्रदेश विधानसभा के सदस्य एवं मंत्री भी रहे थे।

First Published: Sunday, September 22, 2013, 19:33

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