Last Updated: Sunday, January 13, 2013, 22:56
ज़ी न्यूज़ ब्यूरोनई दिल्ली : नियंत्रण रेखा पर पाकिस्तान की ओर से किए गए हमले में पाक सैनिकों द्वारा दो भारतीय सैनिकों की जघन्य हत्या से पूरा देश सदमे के साथ गुस्से में भी है। केंद्र और राज्य सरकार द्वारा शहीद हेमराज के परिवार की उपेक्षा को लेकर बड़ी बहस छिड़ गई है। मालूम हो कि पाक सैनिकों ने पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा से 100 मीटर अंदर घुसकर भारतीय सेना के गश्ती दल पर हमला कर लांस नायक हेमराज और सुधाकर सिंह की हत्या कर दी थी। इतना ही नहीं, पाक सैनिक शहीद हेमराज का सिर भी काटकर भी ले गए।
ज़ी न्यूज़ ने एक विशेष शो में लांस नायक हेमराज के चाचा जगदीश से जब पूछा कि अब आप और आपका परिवार क्या चाहता है तो उन्होंने कहा कि शहीद हेमराज का पूरा परिवार सिर्फ `सम्मान` चाहता है। उन्होंने कहा कि परिवार के लोगों को इस बात का गर्व है कि उसका बेटा देश की सुरक्षा के लिए शहीद हो गया, लेकिन दुख इस बात का है कि परिवार को क्या मिला, बेटे का क्षत-विक्षत शव और ऊपर से केंद्र व राज्य सरकार की उपेक्षा।`
ज़ी न्यूज़ स्टूडियो में हेमराज के चाचा ने कहा, हम इस बात को कैसे सहन कर सकते हैं कि उसके शहीद भतीजे का पार्थिव देह जब यहां आया तो उसे श्रद्धांजलि देने तक की जहमत किसी सरकारी नुमाइंदे ने नहीं समझी। सोचिए, शहीद की पत्नी और उसके बच्चे पर क्या बीत रही होगी। उसके बारे में भी तो सोचना चाहिए।` शहीद हेमराज के गांव में ज़ी न्यूज़ संवाददाता ने जब शहीद की पत्नी से बात की तो धर्मवती का कहना था, `हमें हमारे पति का सिर दिला दो। वह 7 फरवरी को छुट्टी लेकर घर आने वाले थे।` यह कहते-कहते हेमराज की पत्नी फफक पड़ी।
लांस नायक हेमराज को उसके पैतृक गांव खैरर (मथुरा जिला) में `हेमराज अमर रहें` की ध्वनि के बीच पूरे सैनिक सम्मान के साथ किया गया था। हेमराज की चिता को मुखाग्नि उसके पांच साल के बेटे प्रिंस ने दी। हेमराज के परिवार में उसकी पत्नी धर्मवती, मां मीना, दो बेटियां निर्मल (8) व कल्लो (3) और बेटा प्रिंस के अलावा भाई पूरन और जय सिंह हैं। पिता का दो साल पहले निधन हो गया था।
First Published: Sunday, January 13, 2013, 22:56