Last Updated: Friday, September 27, 2013, 19:07

नई दिल्ली : सरकार 2जी घोटाले पर बनी संयुक्त संसदीय समिति में अपनी बात मनवा ले गयी । समिति (जेपीसी) ने 11 के मुकाबले 16 मतों से उस मसौदा रिपोर्ट को मंजूरी दे दी, जिसमें प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और वित्त मंत्री पी चिदंबरम को क्लीन चिट दी गयी है ।
सरकार को बाहर से समर्थन दे रहे बसपा के 2 और सपा के एक सदस्य ने भी सरकार के पक्ष में मतदान किया । सत्ताधारी गठबंधन के 12 अन्य सदस्यों और एक मनोनीत सदस्य ने भी रिपोर्ट के पक्ष में मतदान किया । इसमें पूर्व दूरसंचार मंत्री ए राजा पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने प्रधानमंत्री को गुमराह किया ।
बैठक के बाद जेपीसी के अध्यक्ष पी सी चाको ने यहां संवाददाताओं को बताया कि जिन लोगों ने मसौदा रिपोर्ट के खिलाफ मत डाले हैं, उन्हें अपनी असहमति रिपोर्ट दाखिल करने के लिए 15 दिन का समय दिया जाएगा ।
समिति के कुल 30 सदस्यों में से भाजपा के एक सदस्य सहित तीन सदस्य अनुपस्थित थे । उपस्थित 27 सदस्यों में से सत्ताधारी गठबंधन को कांग्रेस के 11, राकांपा के 1, बसपा के 2 और सपा के 1 सदस्य का मत हासिल हुआ । मनोनीत अशोक गांगुली ने भी पक्ष में मतदान किया ।
भाजपा नेता और समिति के सदस्य यशवंत सिन्हा ने कहा कि गलत तथ्यों, झूठ पर आधारित रिपोर्ट को मंजूरी देने के लिए अवास्तविक बहुमत का बिना संकोच के इस्तेमाल किया गया । विपक्षी मतों में भाजपा के पांच तथा बीजद, तृणमूल कांग्रेस, भाकपा, माकपा, अन्नाद्रमुक और द्रमुक में से प्रत्येक के एक-एक मत शामिल थे । (एजेंसी)
First Published: Friday, September 27, 2013, 19:07