Last Updated: Friday, January 20, 2012, 03:43
ज़ी न्यूज ब्यूरो/ एजेंसी अहमदाबाद : गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को गोधरा में एक दिन के सद्भावना उपवास पर बैठ गए। गोधरा दंगों के 10 साल पूरे होने से एक महीने पहले अपने ‘सद्भावना मिशन’ के तहत शुक्रवार को यहां एक दिन का उपवास कर रहे हैं। मोदी के इस उपवास का मकसद शांति, सद्भावना और भाईचारे को बढ़ावा देना है। मोदी के अनशन को ध्यान में रखकर गोधरा में सुरक्षा व्यवस्था काफी कड़ी कर दी गई है। मोदी के इस सद्भावना उपवास के लिए गोधरा को किले में तब्दील कर दिया है। मोदी के साथ उपवास पर आठ हजार कार्यकर्ता भी बैठे हैं।
उधर, जवाब में कांग्रेस ने भी सत्कर्म उपवास शुरू कर दिया है। स्थानीय भाजपा नेताओं को पंचमहल जिले में गोधरा के एसआरपी मैदान पर आयोजित अनशन में अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों सहित 50 हजार से अधिक की भीड़ की उम्मीद है।
उपवास की शुरुआत से पहले गैर सरकारी संगठन अनहद से जुड़ी सामाजिक कार्यकर्ता शबनम हाशमी और पांच अन्य लोगों को हिरासत में ले लिया गया। ये लोग ‘इंसाफ की खोज में’ नामक एक सम्मेलन का आयोजन कर रहे थे। मुख्यमंत्री मोदी स्टेट रिजर्व पुलिस मैदान में करीब 11 बजे पहुंचे। यहां उनके मंत्रिमंडल के सहयोगी, सांसद और विधायक मौजूद थे। इसमें विभिन्न धर्मों के नेता भी मौजूद हैं।
मैदान में विभिन्न संप्रदाय के लोग बड़ी संख्या में मौजूद हैं। गोधरा 2002 के सांप्रदायिक दंगों का केंद्र रहा था। उपवास की सुरक्षा के लिए 1,600 से अधिक पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है। पुलिस का कहना है कि छह सामाजिक कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया है क्योंकि ये लोग इजाजत नहीं मिलने के बावजूद सार्वजनिक कार्यक्रम करना चाहते थे।
उधर, वड़ोदरा में भाजपा के पूर्व नेता नलिन भट्ट को आज सुबह हिरासत में ले लिया गया। इससे पहले वह अपने संगठन दीन दयाल सेवा संघर्ष समिति द्वारा आयोजित मोदी विरोधी रैली में शामिल हुए थे। भट्ट ने फोन पर बताया कि पुलिस आज सुबह करीब छह बजे मुझे मेरे घर से उठाकर गोतरी थाने में ले आई। मैं गोधरा में मोदी के उपवास के विरोध में प्रदर्शन करने जा रहा था। उन्होंने 2007 के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले भाजपा छोड़कर अपना संगठन बना लिया था।
First Published: Friday, January 20, 2012, 16:57