Last Updated: Tuesday, December 18, 2012, 19:50

कोलकाता : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को अपने भाषण में संयम बरतने की सलाह देते हुए कलकत्ता उच्च न्यायालय ने न्यायपालिका पर टिप्पणी करने के आरोप में स्वत: संज्ञान लेते हुए उनके खिलाफ अवमानना की कार्यवाही शुरू करने से मंगलवार को इनकार कर दिया।
न्यायालय ने अपने फैसले में कहा कि अवमानना की कार्यवाही शुरू करने से इंकार करने का मतलब यह नहीं समझा जाना चाहिए कि उनकी हरकत को मंजूरी मिल गई है। मुख्य न्यायाधीश अरुण मिश्रा और न्यायमूर्ति जॉयमाला बागची की सदस्यता वाली खंडपीठ ने कहा कि वह वरिष्ठ वकील विकास भट्टाचार्य की इस दलील से संतुष्ट नहीं हैं कि मुख्यमंत्री के भाषण ने आलोचना की ‘लक्ष्मणरेखा’ लांघ दी।
पीठ ने कहा कि वह अवमानना कार्यवाही शुरू करने का अपना अधिकार मुख्यमंत्री के खिलाफ इस्तेमाल नहीं करना चाहती। अदालत ने कहा कि लिहाजा हम अवमानना कार्यवाही शुरू करने से इंकार करते हैं । आखिरकार वक्ता राज्य की मुख्यमंत्री है। उनके भाषण में संयम का पुट होना चाहिए। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, December 18, 2012, 19:50