Last Updated: Friday, June 14, 2013, 16:01
भोपाल : ‘मुख्यमंत्री कन्यादान योजना’ के तहत हुए सामूहिक विवाह कार्यक्रम में कथित कौमार्य परीक्षण पर बैतूल की सहायक जिला दण्डाधिकारी नेहा माख्या की जांच में कहा गया है कि इस विवाह कार्यक्रम में कौमार्य परीक्षण नहीं किया गया और कोई ‘गर्भ परीक्षण’ भी नहीं हुआ।
आधिकारिक तौर पर यहां कहा गया है कि बैतूल की सहायक कलेक्टर नेहा माख्या द्वारा की गई इस मामले की जांच में यह जरूरी सामने आया है कि आयोजन से जुड़े कुछ कार्यों में अनियमितता हुई है।
इसके लिये उन्होंने जनपद पंचायत चिचोली के मुख्य कार्यपालन अधिकारी के विरुद्ध कार्रवाई की सिफारिश की गयी है। यह अनियमितताएं निविदाओं, सामग्री खरीद एवं अन्य व्यवस्थाओं से संबंधित हैं। जांच अधिकारी ने गैर जिम्मेदारी से मीडिया में बयान देने वाली सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र चिचोली की स्वास्थ्य कार्यकर्ता के विरुद्ध कार्रवाई की भी अनुशंसा की है।
मध्यप्रदेश के बैतूल जिले की चिचोली जनपद पंचायत के ग्राम हरदू में गत सात जून को ‘मुख्यमंत्री कन्यादान योजना’ के तहत हुए सामूहिक विवाह कार्यक्रम में कथित कौमार्य परीक्षण का मामला चर्चा में आया था। (एजेंसी)
First Published: Friday, June 14, 2013, 16:01