Last Updated: Thursday, June 20, 2013, 16:09

नई दिल्ली : बाढ के दौरान टीवी चैनलों, अखबारों और सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर छाई रही ऋषिकेश की विशाल शिव मूर्ति के तेज जलधार में बह जाने के बावजूद मूर्ति को कोई नुकसान नहीं हुआ है और अब इसे वैज्ञानिक सलाह लेकर परमार्थ निकेतन आश्रम में नये सिरे से प्रतिस्थापित किया जायेगा ।
ऋषिकेश में स्वर्गाश्रम के पास स्थित परमार्थ निकेतन आश्रम की पहचान शिव की इस धवल और विशाल प्रतिमा से है जिसके सामने रोज शाम को गंगा आरती होती है । पिछले साल उत्तरकाशी में आई बाढ के दौरान भी वहां शिव की मूर्ति जलविलीन हो गई थी ।
आश्रम के स्वामी चिदानंद सरस्वती ने बताया कि पिछली बार मूर्ति के जलविलीन होने के बाद हमने 15 फुट उंचा पुल बनाकर उसकी स्थापना की थी लेकिन इस बार जलप्रवाह इतना भीषण था कि मूर्ति बह गई । वैसे हमने उसकी फिल्म बना ली है और मूर्ति का पता चल गया है । जलप्रवाह कम होने पर उसे आश्रम लाया जायेगा ।
उन्होंने कहा कि मूर्ति को कोई नुकसान नहीं हुआ है और उसे अब विशेषज्ञों की सलाह लेकर वैज्ञानिक तरीके से प्रतिस्थापित किया जायेगा ताकि आइंदा ऐसा ना हो । उन्होंने यह भी बताया कि आश्रम राहत कायो’ में उत्तराखंड सरकार की मदद की रूपरेखा बना रहा है । (एजेंसी)
First Published: Thursday, June 20, 2013, 13:35