समर्थन वापसी के पीछे नहीं थे स्टालिन: करुणानिधि

समर्थन वापसी के पीछे नहीं थे स्टालिन: करुणानिधि

समर्थन वापसी के पीछे नहीं थे स्टालिन: करुणानिधि चेन्नई : द्रमुक प्रमुख एम. करुणानिधि ने अपने पुत्र एमके स्टालिन के खिलाफ सीबीआई के छापों पर मच रहे हंगामे के बीच गुरुवार को इस बारे में सधी प्रतिक्रिया दी कि क्या केंद्रीय एजेंसी की कार्रवाई राजनीतिक प्रतिशोध है। उन्होंने कहा कि वह केंद्रीय मंत्रियों के बयानों को समझ सकते हैं कि छापे संप्रग सरकार की जानकारी के बिना पड़े।

साथ ही, करुणानिधि ने एक अलग बयान में कहा कि संप्रग से समर्थन वापसी का फैसला गहन विचार विमर्श के बाद सर्वसम्मति से लिया गया जिसमें पार्टी के वरिष्ठ नेता भी शामिल थे। उन्होंने इन खबरों को खारिज किया कि स्टालिन ने फैसले पर जोर दिया था। द्रमुक के 88 वर्षीय नेता ने स्टालिन के खिलाफ सीबीआई छापों पर प्रतिक्रिया देते हुए यहां संवाददाताओं से कहा कि द्रमुक को प्राय: राजनीतिक प्रतिशोध के लिए निशाना बनाया जाता रहा है। यह इस तरह की कार्रवाइयों में से हो सकती है या फिर नहीं भी हो सकती है।

उन्होंने हालांकि, संकेत दिया कि उनका मानना है कि कार्रवाई सरकार की जानकारी के बिना की गई जैसा कि केंद्रीय मंत्रियों ने दावा किया है। करुणानिधि ने एक सवाल के जवाब में कहा कि यदि केंद्रीय मंत्री कहते हैं कि छापे (सरकार की) जानकारी के बिना पड़े तो मैं नहीं कह सकता कि मैं इस पर विश्वास नहीं कर सकता। छापों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए द्रमुक के कोषाध्यक्ष स्टालिन ने कहा कि यह कार्रवाई ‘राजनीतिक प्रतिशोध’ है क्योंकि यह पार्टी के संप्रग से हटने के दो दिन बाद हुई और वह कानूनी ढंग से मामले का सामना करने को तैयार हैं। (एजेंसी)

First Published: Thursday, March 21, 2013, 14:28

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