Last Updated: Wednesday, February 8, 2012, 16:19
लखनऊ/नई दिल्ली : केंद्रीय मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा और अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष पीएल पूनिया के बीच लम्बे समय से चला आ रहा मतभेद उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के पहले चरण के मतदान के दिन ही सतह पर आ गया। कांग्रेस ने इस मतभेद पर अपनी टिप्पणी में कहा कि एक पार्टी जो चुनाव में जीत की ओर बढ़ रही है, में इस प्रकार का आंतरिक मतभेद स्वाभाविक है।
दरअसल, यह विवाद तब सतह पर आया जब बेनी ने पूनिया को बाराबंकी से बाहर का बताया और कहा कि उनका यहां क्या काम है? बाराबंकी के दरियाबाद में मतदान करने के बाद बेनी प्रसाद वर्मा ने संवाददाताओं से कहा कि पूनिया पंजाब के हैं और उनका बाराबंकी से कोई लेना-देना नहीं है। उनका यहां क्या काम है? पूनिया ने हालांकि बेनी के साथ अपने मतभेदों से इंकार किया।
बाराबंकी में मतदान करने पहुंचे पूनिया से जब संवाददाताओं ने इस बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि मेरा बेनी से कोई मतभेद नहीं है। वहीं, बस्ती जिले में मतदान करने पहुंचे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं सांसद जगदम्बिका पाल ने इस बारे में कोई भी प्रतिक्रिया देने से इनकार कर दिया।
बेनी व पूनिया के बीच मतभेद की खबरें उजागर होने के बाद कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने स्पष्टीकरण देते हुए कहा कि बेनी और पूनिया दोनों कांग्रेस के सम्मानित नेता हैं और उनमें किसी तरह का मतभेद नहीं है। कांग्रेस प्रवक्ता राशिद अल्वी ने दिल्ली में संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि एक पार्टी सत्ता में आ रही है, उसमें इस तरह की बातें होनी स्वाभाविक है। अल्वी ने हालांकि पूनिया को बाहरी बताए जाने का खंडन किया और कहा कि पूनिया बाहरी नहीं हैं। इस तरह तो हम सभी इस देश के अलग-अलग राज्यों से ताल्लुक रखते हैं।
उल्लेखनीय है कि बाराबंकी पूनिया का संसदीय क्षेत्र है, जबकि बेनी का यह गृह जिला है। जिले में राजनीतिक वर्चस्व को लेकर अक्सर दोनों नेताओं के बीच तनातनी की खबरें आती रही हैं। आपसी मतभेदों के कारण ही बाराबंकी से सांसद रहते हुए भी पूनिया जिले के दरियाबाद विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे बेनी के बेटे राकेश वर्मा के पक्ष में प्रचार के लिए नहीं गए।
(एजेंसी)
First Published: Wednesday, February 8, 2012, 21:49