आईडीएफसी और बंधन को मिला बैंकिंग लाइसेंस

आईडीएफसी और बंधन को मिला बैंकिंग लाइसेंस

नई दिल्ली : कई दिनों की अनिश्चितता के बाद भारतीय रिजर्व बैंक ने आखिर आज 25 में से दो आवेदकों इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कंपनी (आईडीएफसी) व कोलकाता की सूक्ष्म वित्त कंपनी बंधन फाइनेंशियल सर्विसेज को सैद्धांतिक तौर पर बैंकिंग लाइसेंस की मंजूरी दे दी।

खास बात यह रही कि अनिल अंबानी समूह, आदित्य बिड़ला समूह व बजाज समूह जैसे बड़े कॉरपोरेट घराने बैंक लाइसेंस हासिल करने की दौड़ में पिछड़ गये। भारतीय डाक के आवेदन के बारे में रिजर्व बैंक ने उच्चस्तरीय जांच समिति की उन सिफारिशों को स्वीकार कर लिया है कि इस बारे में आगे का कदम सरकार के साथ विचार विमर्श के बाद उठाया जाएगा। साथ ही केंद्रीय बैंक ने अन्य आवेदकों को सलाह दी है कि जब नियमित आधार पर लाइसेंस प्रदान करने के लिए दिशानिर्देश आ जाएंगे, तो वे नए सिरे से आवेदन कर सकते हैं।

यह सैद्धान्तिक मंजूरी 18 महीने के लिए वैध होगी। इस दौरान आवेदकों को दिशानिर्देशों के तहत तथा रिजर्व बैंक द्वारा तय शर्तों को पूरा करना होगा। चुनाव आयोग ने कल ही केंद्रीय बैंक को नए बैंक लाइसेंस जारी करने की अनुमति दी थी। वित्तीय सेवा सचिव जी एस संधू ने कहा, ‘इससे और इकाइयों को आगे आकर वित्तीय समावेश को तेजी से आगे बढ़ाने का मौका मिलेगा। यह अर्थव्यवस्था के साथ बैंकिंग क्षेत्र के लिए भी अच्छा है।’

बैंक लाइसेंस पाने वाली पहली सूक्ष्म वित्त कंपनी बंधन फाइनेंशियल सर्विसेज ने कहा है कि यह एक तरह से सूक्ष्म वित्त क्षेत्र की पहचान को मान्यता देना है। साथ ही उनके बैंकिंग सुविधाओं से वंचित क्षेत्रों में पहुंचने के लिए किए गए प्रयासों का नतीजा है। बंधन के चेयरमैन चंद्र शेखर घोष ने कहा, ‘हम गरीब लोगों को पूर्ण बैंकिंग सेवाएं प्रदान कर पाएंगे।’ (एजेंसी)

First Published: Wednesday, April 2, 2014, 21:49

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