Last Updated: Thursday, April 24, 2014, 20:32
नई दिल्ली : सरकार ने आंध्र प्रदेश के औपचारिक विभाजन की प्रक्रिया शुरू कर दी है। विभाजन की तारीख 2 जून तय की गयी है और इसी के बाद तेलंगाना अस्तित्व में आ जाएगा।
जल, परिसंपत्तियों के वितरण तथा दोनों राज्यों के बीच केन्द्रीय कैडर के अधिकारियों के आवंटन की प्रक्रिया अंतिम चरण में है और इसके जल्द पूरा होने की उम्मीद है। सरकारी सूत्रों ने बताया कि विभाजन के बाद आंध्र प्रदेश की राजधानी के लिए जगह चुनकर उसकी सिफारिश करने के लिए बनी विशेषज्ञ समिति मई के पहले सप्ताह सीमांध्र क्षेत्र का दौरा कर सभी संबद्ध पक्षों से विस्तारपूर्वक चर्चा करेगी।
पूर्व केन्द्रीय शहरी विकास सचिव के शिवरामकृष्णन की अध्यक्षता वाली विशेषज्ञ समिति की आज गृह मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक हुई। इसमें आगे उठाये जाने वाले कदमों के बारे में चर्चा की गयी।
समिति के कार्यक्षेत्र में विभाजन के बाद आंध्र प्रदेश की नयी राजधानी की जगह के विभिन्न विकल्पों का अध्ययन करना और तुलनात्मक उपयुक्तता तय करना है। साथ ही जगहों का दौरा, संबद्ध पक्षों से बातचीत कर 31 अगस्त तक रिपोर्ट सौंपना है।
आंध्र प्रदेश के राज्यपाल ईएसएल नरसिम्हन ने गृह मंत्री सुशील कुमार शिन्दे से मुलाकात कर दोनों राज्यों से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की। विभाजन के बाद तेलंगाना में 10 जिले और आंध्र प्रदेश में 13 जिले होंगे। दस साल के लिए हैदराबाद दोनों ही राज्यों की संयुक्त राजधानी होगा। (एजेंसी)
First Published: Thursday, April 24, 2014, 20:32