Last Updated: Tuesday, December 24, 2013, 18:39
वाघा/अटारी : सीमा पर तनाव कम करने और शांति सुनिश्चित करने के लिए भारत और पाकिस्तान के प्रमुख सैन्य कमांडरों के बीच मंगलवार को 14 वर्ष बाद बैठक हुई। पाकिस्तान के महानिदेशक सैन्य संचालन (डीजीएमओ) मेजर जनरल आमिर रियाज और उनके भारतीय समकक्ष लेफ्टिनेंट जनरल विनोद भाटिया ने वाघा-अटारी सीमा पर मुलाकात की। इसे नियंत्रण रेखा पर शांति बहाली और तनाव कम करने के लिए एक तंत्र की संज्ञा दी गई है।
जनरल भाटिया ने मंगलवार को अटारी सीमा पार की और उधर उनकी अगवानी जनरल रियाज ने की। दोनों देशों के डीजीएमओ की बैठक 14 वर्ष बाद हुई है। अंतिम बार दोनों देशों के डीजीएमओ की बैठक जुलाई 1999 में हुए कारगिल युद्ध के बाद हुई थी।
जिन मुद्दों पर बैठक में चर्चा हो रही है, उनमें संघर्षविराम का उल्लंघन और नियंत्रण रेखा पर घुसपैठ शामिल हैं। वार्ता का केंद्र संघर्ष विराम को कायम करना और सामान्य स्थिति बहाल करना है। दोनों ओर से एक ब्रिगेडियर और तीन लेफ्टिनेंट कर्नल भी बैठक में मौजूद थे। दोनों डीजीएमओ आमतौर पर हर मंगलवार को हॉटलाइन पर वार्ता करते हैं।
पाकिस्तान के इंटर सर्विस पब्लिक रिलेशंस ने एक बयान में कहा कि भारत और पाकिस्तान के डीजीएमओ के बीच बैठक का फैसला राजनीतिक स्तर पर लिया गया। पाकिस्तान के डीजीएमओ ने भारतीय डीजीएमओ को बैठक के लिए आमंत्रित किया था, जिसे भारतीय पक्ष ने स्वीकार कर लिया। भारतीय प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के बीच 29 सितंबर को संयुक्त राष्ट्र महासभा के सत्र के दौरान न्यूयार्क में मुलाकात हुई थी। मुलाकात के दौरान नियंत्रण रेखा पर संघर्ष विराम के निरंतर उल्लंघन को लेकर डीजीएमओ की बैठक का फैसला लिया गया था। हाल के महीनों में संघर्ष विराम के कई उल्लंघन हुए हैं। अगस्त महीने में एक हमले में पांच भारतीय सैनिकों की हत्या के बाद दोनों देशों में तनाव काफी अधिक बढ़ गया था। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, December 24, 2013, 18:39