Last Updated: Sunday, February 9, 2014, 12:04
ज़ी मीडिया ब्यूरोतिरूवनंतपुरम : भारतीय जनता पार्टी का प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित होने के बाद केरल में आज पहली रैली करेंगे। वे कोच्चि के एक प्रमुख दलित संगठन द्वारा आयोजित एक जनसभा संबोधित करेंगे। इसके अलावा यहां गिरिजाघरों के प्रतिनिधियों से भी मुलाकात करेंगे। कांग्रेस और माकपा के नेतृत्व वाले मोर्चे के आधिपत्य के चलते अभी तक राज्य से विधानसभा या लोकसभा की एक भी सीट नहीं निकाल पाई भाजपा की राज्य इकाई मोदी की इस यात्रा को एक बड़े मौके की तरह देख रही है।
पार्टी के एक प्रवक्ता के अनुसार मोदी की यह यात्रा राज्य में न सिर्फ पार्टी का आधार मजबूत करेगी बल्कि उन समुदायों और वर्गों तक पहुंच बनाने में भी कामयाब हो सकती है, जिन पर अभी तक केसरिया दल का कोई प्रभाव नहीं रहा है। पार्टी सूत्रों ने बताया कि मोदी कोच्चि में कुछ गिरिजाघरों के प्रतिनिधियों से मुलाकात कर सकते हैं।
मोदी यहां केरल पुलया महा सभा (केपीएमएस) द्वारा आयोजित एक जनसभा को संबोधित करेंगे। यह केरल के प्रमुख अनुसूचित जाति समुदाय का सामाजिक सांस्कृतिक संगठन है। यह जनसभा इस समुदाय को खुद को संगठित करने की इजाजत नहीं दिए जाने के विरोध में समुदाय द्वारा किए गए विरोध कयाल समारम की शताब्दी के अवसर पर आयोजित की गई है।
भाजपा इस संगठन की ओर से मोदी को आमंत्रित किए जाने को पिछड़ी जातियों में उनकी स्वीकार्यता बढ़ने के तौर पर पेश कर रही है। पिछले साल, मोदी ने वरकला के शिवगिरि मठ में भाषण दिया था। यह मठ 20वीं सदी के आध्यात्मिक नेता और समाज सुधारक श्री नारायण गुरू के शिष्यों द्वारा संचालित है। नारायण गुरू राज्य के ऐजावा समुदाय के थे।
पिछले साल उन्होंने माता अमृतानंदमयी देवी के वल्लीकवू स्थित मठ में भी भाषण दिया था। वाम नेताओं ने शिवगिरि मठ के संन्यासियों की ओर से मोदी को आमंत्रित किए जाने की आलोचना की थी, लेकिन भाजपा ने इस आलोचना को खारिज कर दिया था और इसे राजनीतिक अस्पृश्यता का रवैया बताया था। मोदी की यात्रा का अंत कोच्चिं में शंखूमुगम बीच पर एक महारैली से होगा।
First Published: Sunday, February 9, 2014, 12:04