विवादित अध्यादेश : येचुरी ने सरकार की आलोचना की

विवादित अध्यादेश : येचुरी ने सरकार की आलोचना की

नई दिल्ली : दोषी जनप्रतिनिधियों को अयोग्य ठहराए जाने से राहत प्रदान करने वाले विवादित अध्यादेश के मुद्दे पर माकपा के वरिष्ठ नेता सीताराम येचुरी ने सरकार को आड़े हाथों लेते हुए उस पर ‘बदनीयती’ से काम करने का आरोप लगाया।

येचुरी ने पीटीआई से कहा कि हम नहीं जानते कि इसके पीछे कौन है, लेकिन यह जताता है कि सरकार 13 अगस्त की सर्वदलीय बैठक पर चुनिंदा जानकारी लीक कर रही है। सरकार का दावा है कि सभी दलों ने विधेयक का समर्थन किया था।

मीडिया में वितरित किए गए बैठक के ब्यौरे के बारे में पूछे जाने पर येचुरी ने आरोप लगाया कि यह सरकार की बदनीयती है और वह चुनिंदा आधार पर दुष्प्रचार कर रही है।

उन्होंने कहा कि बैठक में शामिल होने वाले सांसदों को बैठक का कोई ब्यौरा (मिनट) नहीं दिया गया है। जहां तक माकपा का सवाल है, इस मुद्दे पर हमारी राय सार्वजनिक रही है। इस बीच माकपा के महासचिव प्रकाश करात ने कहा कि दोषी ठहराए गए जनप्रतिनिधियों को सुरक्षा होनी चाहिए क्योंकि अक्सर निचली अदालतों के फैसले उच्चतर अदालतों में पलट जाते हैं। उन्होंने कहा कि इस मामले पर संसद में चर्चा होनी चाहिए थी।

लोगों में यह धारणा है कि सुरक्षा उपबंध का इस्तेमाल दोषी ठहराए गए जनप्रतिनिधियों को बचाने के लिए किया जा सकता है और इसे भी ध्यान में रखा जाना चाहिए।

करात ने कहा कि संसद की स्थायी समिति इस पर विचार करेगी। मैं आश्वस्त हूं कि उस समय पार्टियां अपने विचार व्यक्त करेंगेी और हम भी इस मुद्दे पर विचार विमर्श करेंगे। मैं समझता हूं कि हमारी पार्टी भी यह राय देगी कि ऐसे किसी कानून या अध्यादेश की जरूरत नहीं है। अपनी केंद्रीय समिति की पिछले महीने हुयी बैठक में पार्टी ने कहा था कि उच्चतम न्यायालय के फैसले का अर्थ दोषी ठहराए गए जनप्रतिनिधियों को तुरंत अयोग्य ठहराना है।

पार्टी ने कहा था कि यह सिद्धांत सही है कि जनप्रतिनिधि कानून में दर्ज अपराधों के लिए दोषी ठहराए गए जनप्रतिनिधि को अयोग्य ठहराया जाए। हालांकि उस मामले में सुरक्षा उपबंध भी होना चाहिए जब उच्चतर अदालतों में अपील करने पर बरी किया जाता है। पार्टी की राय थी कि अपील लंबित रहने तक सदन के सदस्यों के निलंबन का प्रावधान होना चाहिए और अपील का एक तय समयसीमा में निपटारा होना चाहिए। (एजेंसी)

First Published: Thursday, October 3, 2013, 17:11

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