Last Updated: Friday, May 2, 2014, 16:02
नई दिल्ली : केन्द्र सरकार की ओर से आज की गई इस घोषणा को भाजपा ने ‘नैतिक, कानूनी और संवैधानिक’ रूप से गलत बताया जिसमें कहा गया है कि गुजरात में एक महिला की जासूसी करने की जांच करने वाले न्यायाधीश के नाम का ऐलान 16 मई से पहले कर दिया जाएगा।
भाजपा के प्रवक्ता सुधांशु त्रिवेदी ने यहां कहा कि जहां तक कथित स्नूपगेट (जासूसी कांड) की संवैधानिक स्थिति का मामला है तो तथ्य यह है कि राज्य सरकार द्वारा इसकी जांच गठित हो चुकी है। हालांकि इस मामले में कोई शिकायतकर्ता नहीं है।’ उन्होंने कहा, जहां तक नैतिक स्थिति की बात है तो यह सरकार चंद दिनों की मेहमान है। 16 मई के बाद नयी सरकार आने वाली है। ऐसे में जाती हुई सरकार द्वारा इस तरह का निर्णय करना नैतिक दृष्टि से गलत और निंदनीय है।
त्रिवेदी ने कहा कि इसके अलावा राजनीतिक रूप से इस घोषणा में यह स्वीकारोक्ति भी छिपी है कि कांग्रेस चुनाव में हार रही है। उन्होंने कहा कि कानून मंत्री कपिल सिब्बल और गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे का आज यह ऐलान किया जाना कि 16 मई (लोकसभा चुनावों की मतगणना शुरू होने से पहले) से पहले स्नूपगेट मामले की जांच के लिए न्यायाधीश की घोषणा कर दी जाएगी, ‘इस बात की आधिकारिक रूप से स्वीकारोक्ति है कि चुनावों में यह सरकार बुरी तरह हार कर सत्ता से बाहर हो रही है।’ इससे पहले भाजपा के वरिष्ठ नेता अरूण जेटली ने दावा किया था कि कोई भी न्यायाधीश नरेन्द्र मोदी को निशाना बनाने के लिए ‘राजनीतिक एवं दुर्भावनापूर्ण’ कार्रवाई के लिए खुद को ‘आगे’ नहीं करेगा।
स्नूपगेट की जांच कराने के सरकार के फैसले के चार महीने बाद दो मंत्रियों ने आज ऐलान किया है कि लोकसभा चुनावों की मतगणना शुरू होने से पहले इस जासूसी कांड की जांच करने वाले न्यायाधीश के नाम की घोषणा कर दी जाएगी। (एजेंसी)
First Published: Friday, May 2, 2014, 15:48