CRICKET के तीनों फॉर्मेट में कप्तान बने रहना चाहते हैं महेंद्र सिंह धोनी

CRICKET के तीनों फॉर्मेट में कप्तान बने रहना चाहते हैं महेंद्र सिंह धोनी

CRICKET के तीनों फॉर्मेट में कप्तान बने रहना चाहते हैं महेंद्र सिंह धोनीनई दिल्ली: महेंद्र सिंह धोनी अभी क्रिकेट के तीनों प्रारूपों में भारतीय टीम का कप्तान बने रहना चाहते हें क्योंकि उनका मानना है कि जब एक साल बाद विश्व कप होना है तब किसी नए खिलाड़ी पर कप्तानी का बोझ डालना सही नहीं होगा। धोनी ने कहा, ‘‘अब जबकि विश्व कप लगभग एक साल बाद होना तब मुझे नहीं लगता कि यह सही होगा। इससे नए खिलाड़ी को पर्याप्त मौका नहीं मिलेगा। किसी भी खिलाड़ी को विश्व कप शुरू होने से पहले 70 या 80 या 90 मैचों का अनुभव होना जरूरी है।’’

उन्होंने यहां प्रचार कार्यक्रम के दौरान कहा, ‘‘मैं दबाव समझता हूं। इसके अलावा आप ऐसे हालात से गुजरते हो जो आपको अन्य से अधिक अनुभवी बनाते हैं। इसलिए हमें आगे गुजरना होगा।’’ भारत की विश्व कप विजेता टीम के कप्तान धोनी से पूछा गया कि क्या अपना करियर लंबा खींचने के लिये वह एक प्रारूप की कप्तानी छोड़ने पर विचार कर रहे हैं। धोनी ने पिछले साल कहा था कि वह विश्व कप 2015 से पहले एक प्रारूप की कप्तानी छोड़ सकते हैं लेकिन इस तरह का फैसला 2013 के आखिर तक ही किया जाएगा। धोनी आस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में होने वाले विश्व कप तक 33 साल के हो जाएंगे। कप्तान ने कहा कि वह अधिक फिट और स्वस्थ महसूस कर रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘हम आजकल जितनी क्रिकेट खेल रहे हैं उसे देखते हुए मैं अभी जिस स्थिति में हूं उससे बहुत खुश हूं। अभी सब कुछ अच्छा लग रहा है। अभी काफी फिट और स्वस्थ हूं। भविष्य में क्या होगा मैं नहीं जानता लेकिन अभी सब कुछ अच्छा है। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘हां हमें कुछ मुश्किल हालात से गुजरना पड़ा। हमारे लिये एक सत्र अच्छा नहीं रहा। वास्तव में एक सत्र बहुत बुरा रहा जिसके कारण हमें हार झेलनी पड़ी। ’’ धोनी ने कहा, ‘‘लेकिन मैं समझता हूं कि प्रक्रिया महत्वपूर्ण है। दक्षिण अफ्रीकी श्रंंखला से पहले की दो श्रृंखलाओं में हम अच्छे या बुरे सत्र की बात नहीं कर सकते थे। दक्षिण अफ्रीका में भी हमारे कुछ बहुत अच्छे सत्र रहे।’’

उन्होंने कहा, ‘‘यह प्रक्रिया है जिसमें हमें सुधार करना होगा और यह भी सचाई है कि हमें अब लगातार भारत से बाहर खेलना है और इससे खिलाड़ियों को विदेशी परिस्थितियों में खेलने का अधिक मौका मिलेगा। टीम में शामिल अधिकतर खिलाड़ियों ने भारत से बाहर पांच से अधिक टेस्ट मैच नहीं खेले हैं। मैं जानता हूं कि उन्हें कुछ समय लगेगा लेकिन कुल मिलाकर प्रदर्शन अच्छा रहा।’’

भारतीय गेंदबाजों के टेस्ट मैचों में 20 विकेट लेने की क्षमता पर सवाल उठाये जाते रहे हैं और धोनी ने कहा कि यह ऐसा विभाग है जिसमें सुधार की जरूरत है। उन्होंने कहा, ‘‘हमारे पास प्रतिभाशाली गेंदबाज है। हमारे पास ऐसे गेंदबाज हैं जो 20 विकेट ले सकते हैं लेकिन अब भी यह ऐसा विभाग है जिसमें हमें सुधार की जरूरत है। मददगार पिचों पर हमने अच्छा प्रदर्शन किया। हमारे गेंदबाजों ने बेजोड़ खेल दिखाया।’’ (एजेंसी)

First Published: Monday, January 6, 2014, 22:46

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