चोगम में भाग नहीं लेने का मनमोहन का निर्णय कठीन: ब्रिटेन

चोगम में भाग नहीं लेने का मनमोहन का निर्णय कठीन: ब्रिटेन

कोच्चि : ब्रिटेन ने भारत के प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के कोलंबो में 15 नवंबर से शुरू हो रहे राष्ट्रमंडल देशों के शासनाध्यक्षों के सम्मेलन (चोगम) में निजी रूप से शामिल नहीं होने के निर्णय को कठिन बताया है। चेन्नई में ब्रिटिश उप उच्चायुक्त भरत सुरेश जोशी ने आज यहां संवाददाताओं से कहा, हम यह मानते हैं कि यह वास्तव में एक मुश्किल निर्णय है जिसके बारे में हमने भी काफी सोचा है। हम जानते हैं कि कनाडा और अन्य देशों ने भी अपने देशों के प्रमुखों को नहीं भेजने का निर्णय लिया है। यह बहुत कठिन निर्णय है। जोशी ने चोगम बैठक में अपने प्रधानमंत्री को नहीं भेजने के भारत के निर्णय के बारे में पूछे जाने पर यह कहा। वह प्रिंस चार्ल्स और उनकी पत्नी कैमिला पार्कर के केरल के चार दिवसीय दौरे पर आने के मद्देनज़र यहां है।

उन्होंने कहा, हमारी सरकार ने निर्णय लिया है कि यह बैठक राष्ट्रमंडल के बारे में हैं और हमारा मानना है कि राष्ट्रमंडल के व्यापक हितों के लिए हमें इसमें भाग लेना चाहिए। जोशी ने कहा, इस दौरान हमारे पास श्रीलंकाई सरकार के सामने मानवाधिकार के मुद्दे पर अपनी चिंता व्यक्त करने का मौका भी होगा। उन्होंने शाही दंपति के दौरे को इंग्लैंड और भारत के संबंधों के लिए अच्छा बताते हुए कहा कि प्रिंस चार्ल्स केरल की यात्रा के दौरान केरल फोकलोर संग्रहालय, यहूदियों के प्रार्थनालय और डच पैलेस जाएंगे। केरल के राज्यपाल शाही जोड़े के लिए आज रात्रिभोज की मेजबानी करेंगे। (एजेंसी)

First Published: Monday, November 11, 2013, 19:14

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