Last Updated: Monday, November 12, 2012, 20:32

नई दिल्ली : सरकार को आज 2जी स्पेक्ट्रम की नीलामी के पहले दिन 9,200 करोड़ रुपये की बोलियां प्राप्त हुईं। उंचे आधार मूल्य की वजह से दूरसंचार कंपनियों ने स्पेक्ट्रम नीलामी में अभी ज्यादा रुचि नहीं दिखाई।
अखिल भारतीय स्पेक्ट्रम के लिए एक भी बोली नहीं मिली। सरकार ने अखिल भारतीय स्पेक्ट्रम के लिए शुरुआती मूल्य 14,000 करोड़ रुपये रखा है। मुख्य रूप से मांग कुछ चुनिंदा सर्किलों मसलन गुजरात, उत्तर प्रदेश (पूर्व) तथा उत्तर प्रदेश (पश्चिम) पर केंद्रित रही।
कुल 22 दूरसंचार सर्किलों में से बोलियां सिर्फ 18 सर्किलों के लिए मिलीं। दिल्ली, मुंबई, राजस्थान और कर्नाटक सर्किलों के लिए पहले दिन एक भी बोली प्राप्त नहीं हुई।
दूरसंचार सचिव आर चंद्रशेखर ने कहा, पांचवें दौर के अंत तक कुल मिलाकर 9,200 करोड़ रुपये से कुछ अधिक बोलियां मिली थीं। उच्चतम न्यायालय ने फरवरी में 2008 में जारी 122 2जी स्पेक्ट्रम लाइसेंस रद्द किए थे। सरकार खाली हुए स्पेक्ट्रम की नीलामी से कम से कम 28,000 करोड़ रुपये का राजस्व मिलने की उम्मीद कर रही है। पहले दिन की नीलामी से साफ पता चलता है कि दूरसंचार कंपनियां इसमें रुचि नहीं दिखा रही हैं।
सरकार ने सभी 22 दूरसंचार सर्किलों के 5 मेगाहट्र्ज स्पेक्ट्रम के लिए न्यूनतम बोली मूल्य 14,000 करोड़ रुपये रखा है। यह 2008 में आपरेटरों द्वारा अदा किए गए आधार मूल्य का सात गुना है।
दूरसंचार सचिव चंद्रशेखर ने कहा कि नीलामी के लिये पेश स्पेक्ट्रम के कुल 176 ब्लॉकों में से सरकार को सिर्फ 98 के लिए बोलियां मिली हैं। सभी 22 सर्किलों में से उत्तर प्रदेश (पश्चिम) और उत्तर प्रदेश (पूर्व) में स्पेक्ट्रम की मांग पेशकश से अधिक रही है। चंद्रशेखर ने कहा कि उत्तर प्रदेश (पश्चिम) और उत्तर प्रदेश (पूर्व) में स्पेक्ट्रम मांग आरक्षित मूल्य से आगे निकल गई।
गुजरात और बिहार के सभी आठ ब्लाक में (1.25 मेगाहट्र्ज प्रत्येक) के लिए बोलियां प्राप्त हुईं। शेष सर्किलों में मांग 8 ब्लॉकों से कम की रही। सेल्युलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (सीओएआई) के महासचिव आर एस मैथ्यूज ने कहा कि हमने कहा था कि उंचे आरक्षित मूल्य की वजह से कम कंपनियां ही इसमें शामिल होंगी और यही हो रहा है।
उन्होंने कहा कि सीओएआई ने सही अनुमान लगाया था कि कई सर्किलों में एक भी बोली नहीं मिलेगी। मैथ्यूज ने कहा कि नीलामी दो दिन से ज्यादा नहीं चलेगी। असम में 7 ब्लाकों, हरियाणा, मध्य प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, ओड़िशा, पश्चिम बंगाल तथा पूर्वोत्तर के लिए 6-6 ब्लाकों और महाराष्ट्र क्षेत्र के लिए 5 बोलियां प्राप्त हुई हैं।
वहीं हिमाचल प्रदेश, कोलकाता और तमिलनाडु को 8 ब्लाकों की पेशकश पर सिर्फ 4 ब्लाकों के लिए बोलियां मिली हैं। हिमाचल प्रदेश, केरल और पंजाब को सिर्फ एक-एक ब्लाक के लिए बोलियां मिलीं। इससे यह संकेत मिलता है कि टेलीनार प्रवर्तित टेलीविंग्स और वीडियोकान ने इन सर्किलों में बोलियां नहीं लगाई हैं। इन कंपनियों के लाइसेंस उच्चतम न्यायालय के आदेश से रद्द हुए हैं।
प्रमुख दूरसंचार कंपनी भारती एयरटेल के चेयरमैन सुनील भारती मित्तल ने पिछले सप्ताह कहा था कि उंचे आधार मूल्य की वजह से नीलामी पहले दिन ही पूरी हो जाएगी। भारती एयरटेल, वोडाफोन, आइडिया सेल्युलर, वीडियोकॉन और नॉर्वे की टेलीनार जीएसएम स्पेक्ट्रम के लिए दौड़ में हैं, जबकि सीडीएमए स्पेक्ट्रम के लिए टाटा टेलीसर्विसेज और वीडियोकान के हटने के बाद कोई कंपनी दौड़ में नहीं रह गई। (एजेंसी)
First Published: Monday, November 12, 2012, 20:32