Last Updated: Sunday, June 23, 2013, 19:24
बगदाद : इराक ने भारत को भरोसा दिलाया है कि वह उसकी बढती जरूरत के भरपूर तेल देने को तैयार। फिलहाल इराक, भारत के लिए दूसरा सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता है। इराक के विदेश मंत्री होशियार जेबारी ने कहा, इराक मदद करने की इच्छा रखता है और भारतीय अर्थव्यवस्था को जितनी भी (तेल की) जरूरत है, उसको पूरा करने को तैयार है।
शीर्ष इराकी अधिकारियों का मानना है कि भारत को अपनी तेज आर्थिक वृद्धि के साथ अधिक ईंधन विशेष रूप से कच्चे तेल की जरूरत होगी। और तेल का धनी इराक भारत की इस मांग को पूरा करने के लिए तैयार है। इराक प्रतिदिन 31.5 लाख बैरल कच्चे तेल का उत्पादन करता है और उसकी योजना 2020 तक इसे दोगुना करने की है।
उन्होंने कहा कि इराक में दुनिया का तीसरे सबसे बड़ा पुष्ट तेल भंडार है और वह भारत को दूसरा सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता है। जेबारी ने कहा कि आगामी दशकों में इराक की संभावनाएं काफी अधिक हैं। हाल के महीनों में ईरान को पीछे छोड़ते हुए इराक भारत को दूसरा सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता बन गया है।
सूत्रों ने कहा कि भारत की तेल रिफाइनरियों ने पिछले साल इराकी कच्चे तेल उत्पादन का 20 प्रतिशत हिसासा खरीद था। भविष्य में यह आंकड़ा 30 प्रतिशत पर पहुंचने की उम्मीद है। अमेरिका और यूरोपीय संघ के प्रतिबंधों के चलते भारत ने ईरानी तेल पर अपनी निर्भरता को कम किया है।
विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद की इराक यात्रा के महत्व को रेखांकित करते हुए जेबारी ने कहा कि यह इराक-भारत रिश्तों के मद्देनजर काफी महत्वपूर्ण यात्रा है। खुर्शीद 19 और 20 जून को इराक यात्रा पर गए थे। वह पिछले 23 बरस में इराक यात्रा पर जाने वाले पहले भारतीय विदेश मंत्री है। इससे पहले पूर्व विदेश मंत्री इंद्र कुमार गुजराल 1990 में इराक यात्रा पर गए थे।
जेबारी ने कहा कि यह यात्रा दोनों देशों के बीच आपसी महत्व के कई क्षेत्रों मसलन व्यापार, कारोबार, निवेश में बेहतर सहयोग का नया रास्ता खोलेगी। साथ ही इराकी अर्थव्यवस्था को आपसी महत्व के सभी क्षेत्रों में भारतीय विशेषज्ञता का लाभ मिल सकेगा। उन्होंने कहा कि इस यात्रा से भविष्य की यात्राओं का भी रख तय होगा। आगामी महीनों में जेबारी के भारत आने की उम्मीद है। इराक के मंत्री ने दोनों देशों के बीच आर्थिक सहयोग के लिए संयुक्त मंत्रिस्तरीय आयोग को फिर से खड़ा करने की जरूरत पर बल दिया। इस आयोग की आखिरी बैठक 2007 में हुई थी।
सूत्रों ने बताया कि भारत के पेट्रोलियम मंत्री एम वीरप्पा मोइली के 8 जुलाईको संयुक्त आयोग की बैठक में भाग लेने के लिए इराक आने की संभावना है। संयुक्त आयोग की बैठक में सहयोग के कई मुद्दों मसलन कृषि, सस्ते घर, मेडिकल, फार्मा और अन्य पर विचार विमर्श की संभावना है। जेबारी ने भारतीय कंपनियों को इराक के सामान्य तौर पर शांत इलाकों मसलन दक्षिणी इराक में निवेश का न्योता दिया। (एजेंसी)
First Published: Sunday, June 23, 2013, 19:24