‘एसएंडपी का आकलन तथ्यों पर नहीं’

‘एसएंडपी का आकलन तथ्यों पर नहीं’


वाशिंगटन : भारत की क्रेडिट रेटिंग को निवेश ग्रेड से घटाने की स्टैंडर्ड एंड पूअर्स की चेतावनी पर कड़ा एतराज जताते हुए केंद्रीय योजना राज्यमंत्री अश्विनी कुमार ने कहा है कि वैश्विक रेटिंग एजेंसी ने अपने विश्लेषण में तथ्यों पर गौर नहीं किया और उसका रूख देश के प्रति निष्पक्ष नहीं है।

भारत-अमेरिका रणनीतिक वार्ता के लिये भारतीय प्रतिनिधिमंडल के साथ यहां आये कुमार ने कहा कि भारत की मजबूत बुनियाद को देखते हुए यह एस एंड पी की निष्पक्षता पर संदेह पैदा होता है। उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत रूप से मुझे लगता है कि एसएंडपी की रेटिंग भारत के प्रति निष्पक्ष नहीं है। कुमार ने कहा कि मैं स्टैंडर्ड एंड पूअर्स की रिपोर्ट से अचंभित हूं और दुखी हूं कि रेटिंग एजेंसी ने भारत को ऐसे देशों के साथ जोड़ने की कोशिश की है, जिनके साथ कोई युक्तिसंगत तुलना नहीं है।

उन्होंने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था 1,000 अरब डालर की है और स्वतंत्र विशेषज्ञ व्यापक रूप से मानते हैं कि भारत में 2030 तक जापान को पीछे छोड़कर दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की क्षमता है। मंत्री ने कहा कि भारत की वृद्धि दर पिछले कई साल से 8 प्रतिशत के करीब रही और अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की रिपोर्ट के मुताबिक इस कठिन स्थिति में भी इस साल वृद्धि दर 7 प्रतिशत रहने का अनुमान है।

उल्लेखनीय है कि सोमवार को एसएंडपी ने आगाह किया है कि भारत ब्रिक देशों (ब्राजील, रूस, भारत, चीन) में निवेश ग्रेड रेटिंग गंवाने वाला पहला राष्ट्र बन सकता है। इससे पहले रेटिंग एजेंसी ने अप्रैल में देश की सार्वभौमिक ऋण संबंधी साख के परिदृश्य को स्थिर से नकारात्मक कर दिया था। (एजेंसी)

First Published: Wednesday, June 13, 2012, 16:15

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