'छह प्रतिशत से कम रह सकती है आर्थिक वृद्धि दर'

'छह प्रतिशत से कम रह सकती है आर्थिक वृद्धि दर'

नई दिल्ली : देश की आर्थिक वृद्धि दर चालू वित्त वर्ष 2012-13 में 6 प्रतिशत से कम रहने का अनुमान है। एक सर्वेक्षण में कहा गया है कि उद्योग जगत का भरोसा घटने की वजह से चालू वित्त वर्ष में आर्थिक वृद्धि दर 6 प्रतिशत से कम रहेगी।

उद्योग मंडल सीआईआई के सर्वेक्षण के अनुसार, ज्यादातर मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) चालू साल के लिए अर्थव्यवस्था के परिदृश्य को लेकर आशावादी नहीं हैं। उनका मानना है कि इस साल अर्थव्यवस्था में बेहद मामूली सुधार ही देखने को मिलेगा।

सर्वेक्षण में संकेत दिया गया है कि 2012-13 में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर 6 फीसद से कम रहेगी। सीआईआई के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने एक बयान में कहा, यह उद्योग के भरोसे के निचले स्तर को दर्शाता है। पहली तिमाही के जीडीपी आंकड़ों से पता चलता है कि अर्थव्यवस्था में सुस्ती कायम है।

सर्वेक्षण में शामिल 75 मुख्य कार्यपालक अधिकारियों में से लगभग आधे ने कहा कि वित्त वर्ष के दौरान औसत मुद्रास्फीति 7 से 8 प्रतिशत के दायरे में रहेगी।

वहीं 75 फीसद का कहना था कि 2014 में आम चुनावों के मद्देनजर उन्हें वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी), बहु ब्रांड खुदरा क्षेत्र में एफडीआई और बीमा तथा पेंशन क्षेत्रों में एफडीआई सीमा से संबंधित सुधारों के लागू होने की उम्मीद नहीं है।

सर्वेक्षण में शामिल अधिकतर सीईओ का मानना है कि 2012-13 में घरेलू और अंतरराष्ट्रीय निवेश में या तो वृद्धि होगी या यह स्थिर रहेगा। (एजेंसी)

First Published: Sunday, September 2, 2012, 13:41

comments powered by Disqus