Last Updated: Tuesday, April 23, 2013, 16:33

लंदन: वैज्ञानिकों ने एक ताजा अध्ययन में यकृत की एक दुर्लभ बीमारी के लिए जिम्मेदार एक विशेष गुणसूत्र का पता लगा लिया है। इससे यकृत की इस दुर्लभ बीमारी के उपचार में सहायता मिल सकती है। शोधकर्ताओं ने यकृत की एक दुर्लभ स्व-प्रतिरक्षित बीमारी, प्राइमरी सेलेरोजिंग कोलनटाइटिस (पीएससी) से जुड़े नौ नए आनुवंशिक क्षेत्रों का पता लगाया है। इसके साथ ही बीमारी से जुड़े आनुवांशिक कारणों की संख्या 16 हो गई।
पीएससी से ग्रस्त मरीजों में 70 फीसदी के लगभग मरीज आंत की सूजन (आईबीडी) से भी ग्रस्त होते हैं। शोधकर्ता वैज्ञानिकों ने अपनी खोज में बताया कि पीएससी से जुड़े नए आनुवांशिक क्षेत्रों में से सिर्फ आधे का ही सम्बंध आईबीडी से है।
इससे पहली बार यह प्रमाणित हुआ है कि आईबीडी से आनुवांशिक तौर पर जुड़ी पीएससी सुनिश्चित तौर पर एक बीमारी है। गौरतलब है कि पीएससी का कोई प्रभावी उपचार उपलब्ध नहीं है। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, April 23, 2013, 16:33