Last Updated: Thursday, April 4, 2013, 17:39

मुंबई : अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स ने कहा कि उनके लिये चांद पर जाना भी एक सपने जैसा होगा पर वह आगे चलकर विज्ञान की शिक्षिका बनना चाहेंगी।
उन्होंने कहा कि हम एक नया अंतरिक्ष यान बना रहे हैं। मैं उसका हिस्सा बनना पसंद करुंगी। नये अंतरिक्ष यान के निर्माण में अनुभवी लोगों की मदद ली जाती है। नेहरु विज्ञान केंद्र पर सुनीता ने कहा कि यह सब फिलहाल के लक्ष्य हैं पर आगे चलकर मैं स्कूल में शिक्षिका बनना चाहती हूं-विज्ञान की शिक्षिका।
उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि अधिक से अधिक लोगों से अंतरिक्ष के बारे में बात करना और अपने अनुभव साझा करना ही मेरा अभी का लक्ष्य है। अंतरिक्ष में सबसे अधिक समय तक चलने वाली महिला अंतरिक्ष यात्री का रिकार्ड विलियम्स (47) के नाम है। 50 घंटे और 40 मिनट तक अंतरिक्ष में चलकर यह रिकार्ड बना चुकी सुनीता इन दिनों एक सप्ताह के लिये भारत के दौरे पर हैं। (एजेंसी)
सुनीता के अनुसार चांद पर जाना एक सपने जैसा होगा। मंगल पर जाना भी बेहद अच्छा रहेगा लेकिन मुझे लगता है कि मेरे अंतरिक्ष यात्री बने रहने तक ऐसा संभव नहीं हो सकेगा।
भारत और अमेरिका के बीच अंतरिक्ष सहयोग पर सुनीता ने कहा कि मैं नासा का हिस्सा रह चुकी हूं। मैंने भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते रिश्तों को देखा है। साथ ही साथ नासा और इसरो के बीच गहराते रिश्ते देखे हैं जोकि बहुत अच्छी बात है।’’ यह पूछे जाने पर कि क्या अंतरिक्ष में रहने पर अकेलापन महसूस नहीं होता, उन्होंने कहा कि नहीं, अकेलापन नहीं महसूस होता। पृथ्वी के साथ इतना जुड़ाव है कि कोई अकेला महसूस नहीं कर सकता। आप वहां से घर पर परिजनों को फोन भी कर सकते हैं। (एजेंसी)
First Published: Thursday, April 4, 2013, 17:39