`मुशर्रफ के राज में मिला था ओसामा को ऐबटाबाद में पनाह`

`मुशर्रफ के राज में मिला था ओसामा को ऐबटाबाद में पनाह`

`मुशर्रफ के राज में मिला था ओसामा को ऐबटाबाद में पनाह`मेलबर्न : पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी इंटर सर्विसेज इंटेलीजेंस (आईएसआई) के पूर्व प्रमुख जनरल जियाउद्दीन बट्ट ने दावा किया है कि तत्कालीन राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ की पूरी जानकारी में एक पाकिस्तानी ब्रिगेडियर ने ओसामा बिन लादेन को संरक्षण दे रखा था।

बट्ट ने एक साक्षात्कार में कहा, ‘ब्रिगेडियर एजाज शाह के पूर्व सैन्य शासक परवेज मुशर्रफ के साथ नजदीकी रिश्ते थे। मुशर्रफ शासन में यह ब्रिगेडियर बेहद ताकतवर हुआ करता था।’ आस्ट्रेलियाई समाचार पत्र ‘सिडनी मार्निंग हेराल्ड’ के मुताबिक उन्होंने कहा, ‘मुझे पूरा यकीन है कि एजाज शाह ने ही ऐबटाबाद में ओसामा को पनाह दी थी और परवेज मुशर्रफ को इसकी पूरी जानकारी थी।’ शाह मुशर्रफ शासन के समय गुप्तचर ब्यूरो के प्रमुख हुआ करते थे और माना जाता है कि ब्रिटिश मूल के आतंकवादी उमर शेख के मामले में आईएसआई की ओर से प्रमुख भूमिका में थे। शेख को ‘वाल स्ट्रीट जर्नल’ के पत्रकार डेनियल पर्ल की हत्या के मामले में दोषी करार दिया गया था।

बीते साल 2 मई को अमेरिकी सुरक्षा बलों की कार्रवाई में ओसामा मारा गया था। बट्ट ने दावा किया कि ऐबटाबाद के जिस परिसर में ओसामा ने पनाह ले रखी थी, उसे भी ब्रिगेडियर शाह के आदेश पर बनाया गया था। आईएसआई के पूर्व प्रमुख जनरल बट्ट ने आरोप लगाया कि शाह ने दुनिया के सबसे खूंखार आतंकवादी ओसामा को कई वर्षों तक पनाह दी और दूसरी ओर पाकिस्तानी सेना एवं अमेरिका मिलकर अलकायदा सरगना की तलाश कर रहे थे।

जियाउद्दीन बट्ट के इन आरोपों को एजाज शाह ने बेबुनियाद करार दिया है। उन्होंने कहा, ‘मैं इस आरोप को खारिज करता हूं और दुनिया का कोई भी अक्लमंद इंसान इसे खारिज कर देगा।’ शाह ने कहा कि ओसामा को मारे जाने को एक साल बीत गया, लेकिन इस बारे में अब तक कोई सबूत सामने नहीं आया कि उन्होंने इस आतंकवादी को पनाह दी थी अथवा उसे जानते थे। पूर्व पाकिस्तानी प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो की हत्या के बाद शाह ने कथित तौर पर पाकिस्तान छोड़ दिया था और आस्ट्रेलिया चले गए थे। जिंदा रहते बेनजीर ने आरोप लगाया था कि शाह आतंकवादियों के साथ मिलकर उनकी हत्या की साजिश रच रहे हैं।

एजाज शाह साल 2007 में उस रात को बेनजीर के सुरक्षा मामलों के प्रभारी थे, जब पूर्व प्रधानमंत्री की हत्या कर दी गई थी। मुशर्रफ ने 2004 में शाह को आस्ट्रेलिया में उच्चायुक्त नामित किया था, लेकिन आस्ट्रेलियाई सरकार ने इसे स्वीकार नहीं किया। माना जाता है कि आतंकवादियों के साथ शाह के रिश्तों की वजह से आस्ट्रेलियाई सरकार ने यह फैसला किया। (एजेंसी)

First Published: Monday, July 9, 2012, 13:48

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