यूएन ने की समुद्री पर्यावरण की सुरक्षा के लिए अपील

यूएन ने की समुद्री पर्यावरण की सुरक्षा के लिए अपील

संयुक्त राष्ट्र : ‘विश्व महासागर दिवस’ के अवसर पर संयुक्त राष्ट्र के महासचिव बान की-मून ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से समुद्री पर्यावरण में हुए क्षरण की प्रक्रिया को रोक कर जलीय वातावरण सामान्य बनाने के लिए ज्यादा प्रयास करने की अपील की है। उनका कहना है कि समुद्री पर्यावरण को नुकसान से पृथ्वी पर जीवन का लगभग हर पक्ष प्रभावित होता है।

बान ने इस अवसर पर एक संदेश में कहा है, ‘इस ग्रह पर रहने वाले लोगों की खातिर महासागरों के स्थायित्व के लिए, आइए, हम सभी मिलकर प्रयासों की नई तरंगें पैदा करें।’ संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, ‘व्यापार से भोजन और भोजन से पर्यावरण नियमन तक महासागर मानव जीवन का अभिन्न अंग हैं। यह बात तटीय इलाकों में रहने वाले लोगों के लिए खास तौर पर सटीक साबित होती है, जिनकी आय और संस्कृति समुद्र से जुड़ी हैं।’

मून ने कहा, ‘अगर हमें महासागरों से पूरा लाभ लेना है तो हमें प्रदूषण, अम्लीयता और अत्यधिक दोहन के कारण समुद्री पर्यावरण को पहुंचे नुकसान को रोक कर जलीय वातावरण को सामान्य करना होगा।’ विश्व संस्था के महासचिव ने इस दिशा में काम करने के लिए सभी देशों से अपील की। उन्होंने इन देशों से समुद्र के कानून संबंधी संयुक्त राष्ट्र संधि (यूएन कन्वेन्शन ऑन द लॉ ऑफ द सी) से जुड़ने और इसे लागू करने की भी अपील की। दुनिया भर के जलीय स्रोतों के नियमन के लिए बनी इस संधि को ‘महासागरों का संविधान’ (कॅन्स्टीट्यूशन ऑफ द ओशन्स) कहा जाता है।

धरती पर खाद्य सुरक्षा, स्वास्थ्य, जीवन में उर्जा तथा अन्य जरूरतों की पूर्ति में महासागरों की महत्वपूर्ण भूमिका को देखते हुए महासभा ने तय किया था कि वर्ष 2009 से 8 जून को संयुक्त राष्ट्र ‘विश्व महासागर दिवस’ के रूप में मनाएगा। इसका उद्देश्य महासागरों के सामने मौजूद वर्तमान चुनौतियों के बारे में अंतरराष्ट्रीय समुदाय में जागरूकता लाना है। इस साल ‘विश्व महासागर दिवस’ की थीम ‘महासागर और लोग’ है। (एजेंसी)

First Published: Sunday, June 9, 2013, 11:19

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