Last Updated: Friday, February 3, 2012, 04:05
वॉशिंगटन: ओबामा प्रशासन ने कहा है कि पिछले साल लिस्बन सम्मेलन में उनके देश ने तय किया था कि वर्ष 2014 तक अफगानिस्तान में सुरक्षा का जिम्मा पूरी तरह अफगान बलों को सौंप दिया जाएगा और इस योजना में कोई बदलाव नहीं हुआ है।
व्हाइट हाउस से यह बात और विदेश मंत्रालय और पेंटागन से इस तरह के बयान ऐसे समय पर आए हैं जब एक दिन पहले ही रक्षा मंत्री लियोन पेनेटा ने घोषणा की थी कि अमेरिका अफगानिस्तान में अपने सैन्य अभियान वर्ष 2013 तक समाप्त करने की योजना बना रहा है।
व्हाइट हाउस और विदेश मंत्रालय ने पेंटागन के साथ कहा कि अफगानिस्तान में सुरक्षा संबंधी दायित्व वर्ष 2014 तक अफगान बलों को सौंपने की पूर्व की उनकी नीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है।
संवाददाताओं से व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव जे कार्नी ने कहा ‘यह पूर्व में घोषित उस नीति के तहत है जिसके अनुसार अफगानिस्तान में सुरक्षा संबंधी दायित्व वर्ष 2014 तक अफगान बलों को सौंप दिया जाना है।’
कार्नी ने कहा कि राष्ट्रपति ओबामा जिस अत्यंत महत्वपूर्ण नीति का कार्यान्वयन कर रहे हैं, उसके बारे में पेनेटा ने कुछ टिप्पणियां की थीं और वह इस पर विचारविमर्श करने की हैसियत भी रखते हैं। बीते बरस लिस्बन में आयोजित नाटो के एक सम्मेलन में गठबंधन वर्ष 2014 तक अफगान बलों को अफगानिस्तान की सुरक्षा का दायित्व सौंपने के बाद अपने सभी सैनिकों को वापस बुलाने की योजना पर सहमत हुआ था।
गत जून में ओबामा ने अफगानिस्तान में तैनात सभी 33,000 अमेरिकी सैनिकों को वर्ष 2012 के मध्य तक वापस लौटने का आदेश दिया था। विदेश मंत्रालय और पेंटागन ने कहा कि उनकी लिस्बन योजना में कोई बदलाव नहीं हुआ है।
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता विक्टोरिया नुलैंड ने कहा ‘हम लिस्बन समझौते के लिए प्रतिबद्ध हैं कि वर्ष 2014 के आखिर तक अफगानिस्तान की सुरक्षा का दायित्व अफगान बलों को सौंप देने का हमारा लक्ष्य पूरा हो जाएगा।’
(एजेंसी)
First Published: Friday, February 3, 2012, 09:36