अक्टूबर में फिर बढ़ सकता है रेल किराया

अक्टूबर में फिर बढ़ सकता है रेल किराया

ज़ी न्यूज़ ब्यूरो
नई दिल्ली : ईधन की कीमतों में उतार-चढ़ाव के बीच रेल किरायों और माल भाड़ों की समीक्षा व उनके निर्धारण के लिए रेल किराया नियामक प्राधिकरण के गठन का प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है तथा इसे शीघ्र ही मंत्रिमंडल की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा।

रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष विनय मित्तल ने शनिवार को राष्ट्रीय संपादक सम्मेलन को संबोधित करने के बाद पत्रकारों से बातचीत में बताया कि प्राधिकरण के गठन के प्रस्ताव पर अंतर मंत्रालयीन स्तर पर विचार विमर्श के बाद कैबिनेट नोट तैयार किया जा रहा है। उन्होंने उम्मीद जताई कि इसे जल्द ही सरकार की मंजूरी मिल जाएगी।

मित्तल ने बताया कि इस वर्ष के रेल बजट में किरायों और मालभाड़ों में ईंधन समायोजन कारक (एफएसी) जोड़ा गया है जो एक अप्रैल से प्रभावी होगा। यह माल भाड़े और यात्री किरायों दोनों पर लागू होगा तथा हर वर्ष दो बार किरायों एवं मालभाड़ों की समीक्षा की जाएगी।

मित्तल ने कहा कि इस बजट में (एफएसी) के अंतर्गत 800 करोड़ रुपए की राशि रखी गई है। अगर ईधन मूल्य वृद्धि इतनी होती है कि यह पैसा खत्म हो जाए और रेलवे पर बोझ बढ़ने लगे तो संभव है कि दोनों में वृद्धि करनी पड़े। अगर ऐसा नहीं हुआ तो इसकी कोई जरूरत नहीं पड़ेगी।

First Published: Saturday, March 23, 2013, 21:46

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