अन्ना और रामदेव के आंदोलन में कोई अंतर नहीं है: वीके सिंह

अन्ना और रामदेव के आंदोलन में कोई अंतर नहीं है: वीके सिंह

अन्ना और रामदेव के आंदोलन में कोई अंतर नहीं है: वीके सिंहजयपुर: पूर्व थलसेनाध्यक्ष वी के सिंह ने आज कहा कि योगगुरू रामदेव और अन्ना हजारे के आन्दोलन समरूप है, मुझे इनके आन्दोलन में कोई फर्क नजर नहीं आता है। मैं देशहित में काम करने वाले लोगों के साथ काम करने को तैयार हूं।

दो दिन की जयपुर यात्रा पर आये पूर्व थलसेनाध्यक्ष संवाददाताओं से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि बाबा रामदेव काले धन के विरोध में और अन्ना हजारे भ्रष्ट्राचार के खिलाफ काम कर रहे है, दोनों के आन्दोलन से जाग्रति आयी है। उन्होंने कहा कि भ्रष्ट्राचार पर अंकुश लगाने के लिए एकजुटता से काम कर जनमत बनाने की जरूरत है, ऐसे देशहित के काम के लिए मैं काम करने को तैयार हूं।

सिंह ने अन्ना हजारे के राइट टू रिकाल मांग का समर्थन करते हुए कहा कि इससे देश में सुधार होगा, क्योंकि कई नेता चुनाव के वक्त ही मतदाताओं के समक्ष जाते है।

‘राइट टू रिकाल’ लागू होता है तो लोकतंत्र में सुधार आएगा। उन्होंने स्वयं के राजनीति में प्रवेश के प्रश्न का सीधा जवाब देने से टालते हुए कहा ‘‘मैं तो आज की बात करता हूं, कल किसने देखा है।’

पूर्वथल सेनाध्यक्ष ने सेना में राजनीतिक दंखलदाजी को लेकर पूछे गये प्रश्न का जवाब देते हुए कहा कि सेना को अपने ढंग से काम करने देना चाहिए, दुनिया में कई ऐसे उदाहरण सामने आये है जहां सेना के कामकाज में दखल किया गया। उन्होंने कहा कि सेना का काम, सेना की तैयारी, उपकरण, प्रशिक्षण और मनोबल पर निर्भर करता है। सेना में भ्रष्ट्राचार के मुददे पर मौन सांधते हुए कहा मुझे इस बारे में कुछ कहने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि युवाओं में सहनशीलता की कमी नजर आ रही है इसमें युवाओं का सुधार करने की जरूरत है। (एजेंसी)

First Published: Tuesday, August 14, 2012, 14:22

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