Last Updated: Tuesday, October 16, 2012, 14:23

ज़ी न्यूज ब्यूरो/एजेंसी
चंडीगढ: हरियाणा के मुख्यमंत्री भूपिन्दर सिंह हुड्डा ने इस बात से इंकार किया है कि मुख्य सचिव अशोक खेमका का ट्रांसफर कर उन्हें कोई सजा दी गई है।
भूपिन्दर सिंह हुड्डा ने कहा कि मुख्य सचिव खेमका की शिकायत पर गौर करेंगे। उन्होंने कहा ‘जहां तक हरियाणा सरकार का संबंध है तो हमने किसी को भी अनावश्यक लाभ नहीं दिया है।’
वर्ष 1991 बैच के आईएएस अधिकारी अशोक खेमका हरियाणा में भूमि सुदृढ़ीकरण एवं भूमि रिकॉर्ड महानिदेशक सह पंजीकरण महानिरीक्षक के पद पर थे। यह पदभार ग्रहण करने के तीन माह के अंदर ही उनका तबादला कर दिया गया। उन्होंने तीन दिन पहले ही गुड़गांव, फरीदाबाद, पलवल और मेवात में 2005 से हुए भूमि सौदों की जांच के आदेश दिए थे।
वाड्रा ने 3.531 एकड़ की जमीन को रियल इस्टेट कंपनी डीएलएफ को बेचा था, खेमका ने वाड्रा की कंपनी स्काई लाइट हॉस्पिटेलिटी प्राइवेट लिमिटेड और डीएलएफ के बीच इस जमीन खरीद प्रक्रिया में अनियमितता पाई जिसके बाद उन्होंने इसका म्यूटेशन रद्द कर दिया था। जमीन डील को रद्द करने वाले दस्तावेज के मुताबिक मानेसर-शिकोहपुर में हुई जमीन बिक्री के कागजात पर अनाधिकृत अफसर के दस्तखत पाए गए।
First Published: Tuesday, October 16, 2012, 14:23